नयी दिल्ली : आम आदमी पार्टी के सदस्य योगेंद्र यादव ने सरकार से पूछा कि अगर वह कांग्रेस में शामिल होते तो भी क्या वह उतने ही ‘‘उत्साह’’ के साथ कार्रवाई करती.गौरतलब है कि यादव के यूजीसी सदस्य बने रहने पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा दिए गए कारण बताओ नोटिस का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि वह इस बात से दुखी हैं कि आम आदमी पार्टी में शामिल होने के बाद से उनकी स्थिति बदल गई है क्योंकि यह स्पष्ट नहीं है कि वह कैसे उनकी शैक्षणिक विश्वसनीयता को प्रभावित कर सकती है, जो यूजीसी में उनके मनोनयन का आधार थी.
यादव को हितों के टकराव का हवाला देते हुए पिछले सप्ताह कारण बताओ नोटिस दिया गया था. मंत्रालय के अधिकारी उन्हें हटाने पर दृढ़ प्रतीत हो रहे हैं. उन्होंने बताया कि इस संबंध में फैसला शीघ्र किए जाने की उम्मीद है. मानव संसाधन विकास मंत्री एम एम पल्लम राजू को लिखे सात पन्नों के अपने जवाब में उन्होंने कहा, ‘‘ऐसी सरकार को स्पष्टीकरण देना निर्थक है जो राजनैतिक विरोधी पर निशाना साधने निकल पड़ी है. मैं अपना बचाव कर सकता हूं, जैसा आरोपी करता है लेकिन मैं नहीं करुंगा. मैं कठघरे में खड़ा किए जाने से इंकार करता हूं.’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने कुछ गलत नहीं किया है, कुछ भी नहीं छिपाया है और न ही किसी मानदंड और मूल्यों का उल्लंघन किया है. मैं कोई कारण नहीं पाता हूं कि मैं कोई स्पष्टीकरण दूं.’’यादव ने कहा, ‘‘कोई आश्चर्य कर सकता है कि क्या आपकी सरकार ने उसी उत्साह के साथ कार्रवाई की होती अगर मैं कांग्रेस पार्टी में शामिल होता या ऐसे ही पदाधिकारियों के साथ किया है जो सत्तारुढ़ दल में शामिल हुए हैं.’’