पीलीभीत: उत्तर प्रदेश में शाहजहांपुर जिले के एक स्कूल प्रधानाध्यापक को कथित रुप से आसाराम की हवस का शिकार हुई नाबालिग लडकी को बालिग होने का फर्जी उम्र प्रमाणपत्र जारी करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया है.
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आसाराम बलात्कार मामला: गलत प्रमाणपत्र जारी करने के आरोप में प्रधानाध्यापक गिरफ्तार
पीलीभीत: उत्तर प्रदेश में शाहजहांपुर जिले के एक स्कूल प्रधानाध्यापक को कथित रुप से आसाराम की हवस का शिकार हुई नाबालिग लडकी को बालिग होने का फर्जी उम्र प्रमाणपत्र जारी करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया है. पुलिस क्षेत्रधिकारी राजेश्वर सिंह ने आज बताया कि आसाराम के कथित बलात्कार का शिकार हुई नाबालिग […]
पुलिस क्षेत्रधिकारी राजेश्वर सिंह ने आज बताया कि आसाराम के कथित बलात्कार का शिकार हुई नाबालिग लडकी के बालिग होने का फर्जी उम्र प्रमाणपत्र जारी करने के मामले की जांच के बाद कल शाहजहांपुर जिले के संत विवेकानंद पब्लिक स्कूल के प्रधानाध्यापक संत कृपाल को गिरफ्तार कर लिया गया.उन्होंने बताया कि नाबालिग लडकी के साथ बलात्कार का मामला प्रकाश में आने के बाद उक्त विद्यालय के प्रधानाध्यापक ने एक फर्जी उम्र प्रमाणपत्र दिया था, जिसमें घटना के दिन उसे बालिग बताया गया था.
सिंह ने बताया कि पीडिता की पिता की शिकायत पर मामले की जांच की गयी और यह पाये जाने के बाद कि प्रधानाध्यापक ने फर्जी प्रमाणपत्र जारी किया था, उसे गिरफ्तार करके कल शाम जेल भेज दिया गया.आसाराम को 16 साल की एक नाबालिग लडकी के साथ बलात्कार करने के आरोप में वर्ष 2013 की पहली सितम्बर को उनके इंदौर स्थित आश्रम से गिरफ्तार कर लिया गया था और फिलहाल वह जोधपुर जेल में बंद हैं.
जोधपुर अदालत में चल रहे मुकदमे में आसाराम बार-बार यह दावा करते रहे हैं कि घटना के दिन लडकी नाबालिग नहीं बल्कि बालिग हो चुकी थी.आसाराम ने अपने उम्र और खराब स्वास्थ्य का हवाला देकर, विभिन्न अदालतों के समक्ष जमानत पर रिहा करने की अर्जी लगायी और इस कोशिश में वह उच्चतम न्यायालय तक गये, मगर वहां भी उनकी अर्जी खारिज कर दी गयी.
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