नयी दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज भाजपा महासचिवों से मुलाकात की और संगठन के मुद्दों सहित कुछ प्रमुख राज्यों में विधानसभा चुनावों से पहले पार्टी को मजबूत बनाने के उपायों पर चर्चा की.
मोदी ने अपने आवास पर सुबह के नाश्ते पर पार्टी के दस महासचिवों से एक घंटे से अधिक समय तक चर्चा की. बैठक में उन्होंने सुशासन और पार्टी को मजबूत करने के लिहाज से महासचिवों के सुझाव सुने. मोदी ने पार्टी नेताओं से कहा कि वे जनता और सरकार के बीच सेतु का कार्य करें. सोमवार को प्रधानमंत्री पद का कार्यभार संभालने के बाद मोदी ने इस तरह की पहली बैठक बुलायी.
मोदी अन्य पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं से कल शाम अशोक रोड स्थित भाजपा मुख्यालय पर मुलाकात करेंगे. जमीनी स्तर पर कार्यकर्ताओं से संपर्क बनाने और लोकसभा चुनावों में पार्टी की जबर्दस्त विजय के लिए उनका धन्यवाद करने के उद्देश्य से पार्टी मुख्यालय पर यह बैठक होगी.समझा जाता है कि यह बैठक यह सुनिश्चित करने का प्रयास है कि हाल के लोकसभा चुनावों में पार्टी को मिले व्यापक जनादेश के परिप्रेक्ष्य में भाजपा की संगठनात्मक क्षमता कमजोर न हो. वरिष्ठ भाजपा नेताओं ने कहा कि उद्देश्य पार्टी को गतिशील रखने का है और यह भी उद्देश्य है कि जबर्दस्त विजय के बाद उत्साह कम न होने पाये.
पार्टी महासचिव वरुण गांधी ने बैठक के बाद ट्वीट किया .. पार्टी महासचिवों की बैठक में सम्माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के प्रेरणादायक संदेश से प्रेरित हुआ कि पार्टी और देश की सेवा नये जोश के साथ करनी है.सूत्रों के मुताबिक मोदी ने पार्टी महासचिवों से कहा कि वे जमीनी स्तर पर आम आदमी से संपर्क बनाये रखते हुए सरकार और आम आदमी के बीच सेतु की तरह काम करना जारी रखें.
बैठक के दौरान यह चर्चा भी हुई कि प्रभावी शासन और सुशासन के लिए आम आदमी और पार्टी समर्थकों की ओर से सरकार को दिये जाने वाले सुझावों को शामिल करने के लिए क्या तंत्र बनाया जाए.सूत्रों ने बताया कि करीब 90 मिनट चली बैठक में प्रधानमंत्री ने पार्टी नेताओं से यह भी कहा कि वे महाराष्ट्र और हरियाणा में इस साल के अंत में तथा झारखंड, जम्मू कश्मीर और बिहार में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों की तैयारी करें. इसके अलावा उन्होंने उनसे यह भी कहा कि 2016 में पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, केरल, असम और पुडुचेरी के चुनावों के लिए तैयार रहें.
बैठक में शामिल हुए नेताओं में भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह, महासचिव :संगठन: रामलाल और अमित शाह, अनंत कुमार, धर्मेन्द्र प्रधान, वरुण गांधी, राजीव प्रताप रुडी, थावरचंद गहलोत, जे पी नडडा, तापिर गाओ और मुरलीधर राव हैं.पार्टी में आने वाले दिनों में बडे पैमाने पर परिवर्तन देखने को मिलेंगे क्योंकि अध्यक्ष राजनाथ सिंह, तीन उपाध्यक्ष जुएल ओराम, उमा भारती और स्मृति ईरानी तथा तीन महासचिव अनंत कुमार, थावरचंद गहलोत और धर्मेन्द्र प्रधान सरकार में मंत्री बन गये हैं. इसके अलावा पार्टी कोषाध्यक्ष पीयूष गोयल तथा दो प्रवक्ता प्रकाश जावडेकर और निर्मला सीतारमण भी सरकार में शामिल हो गये हैं. आने वाले दिनों में भाजपा का नया अध्यक्ष बनाया जा सकता है. इस पद की दौड में मोदी के करीबी समङो जाने वाले अमित शाह, महासचिव जे पी नडडा और भाजपा की गुजरात इकाई के प्रभारी ओम प्रकाश माथुर के नाम चल रहे हैं.
भाजपा में नये चेहरे भी देखने को मिलेंगे क्योंकि वह महाराष्ट्र और हरियाणा में इस साल के अंत में तथा जम्मू कश्मीर और झारखंड में अगले साल की शुरुआत में होने वाले महत्वपूर्ण विधानसभा चुनावों से पहले संगठन को कमजोर नहीं करना चाहती. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ भी चाहता है कि संगठन गतिशील और मजबूत बना रहे और 1999 के हालात न बनें, जब बडे नेता सरकार में शामिल हो गये थे और पार्टी का जमीनी स्तर पर संपर्क टूट गया था.