28.8 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

नरेंद्र मोदी की ”भारतमाला” को मिली हर जरूरी मंजूरी, जुड़ेंगे प्रमुख नगर

नयी दिल्‍ली : भारत के विभिन्‍न राज्‍यों की सीमाओं को एक दूसरे से जोड़ने की नरेंद्र मोदी की महत्‍वकांक्षी योजना ‘भारतमाला’ को सभी मंजूरिया मिल गयी हैं. अंग्रेजी अखबार इकोनोमिक टाइम्‍स में छपी खबर के अनुसार एक अधिकारी ने इस बात की पुष्टि की कि नरेंद्र मोदी की महत्‍वकांक्षी परियोजना ‘भारतमाला’ को हर जरुरी मंजूरी […]

नयी दिल्‍ली : भारत के विभिन्‍न राज्‍यों की सीमाओं को एक दूसरे से जोड़ने की नरेंद्र मोदी की महत्‍वकांक्षी योजना ‘भारतमाला’ को सभी मंजूरिया मिल गयी हैं. अंग्रेजी अखबार इकोनोमिक टाइम्‍स में छपी खबर के अनुसार एक अधिकारी ने इस बात की पुष्टि की कि नरेंद्र मोदी की महत्‍वकांक्षी परियोजना ‘भारतमाला’ को हर जरुरी मंजूरी मिल गयी है. पंद्रह साल पहले पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने स्‍वर्णिम चतुर्भुज योजना के तहत भारत के सभी चार महानगरों को सड़क के माध्‍यम से जोड़ने का काम किया था. वहीं अब नरेंद्र मोदी पूरब और पश्चिमी राज्‍यों को आपस में पिरोने के लिए भारतमाला का निर्माण कराना चाहते हैं.

इस योजना में करीब 14000 करोड़ रुपये खर्च का अनुमान है. इस योजना के तहत भारत के पूरब से पश्चिम तक यानी मिजोरम से गुजरात तक सीमावर्ती इलाकों में सड़क बनायी जाएगी. इस सड़क को महाराष्ट्र से पश्चिम बंगाल तक तटीय राज्यों में एक रोड नेटवर्क से जोड़ा जाएगा. अखबार के साथ बातचीत में सड़क सचिव विजय छिब्बर ने बताया, ‘हमारी योजना अपनी सीमाओं, खासतौर से उत्तरी सीमाओं पर सड़कें बनाने की है. हमने इसे भारतमाला नाम दिया है.’ छिब्बर ने बताया कि सभी जरूरी मंजूरियां मिल जाने पर इस साल काम शुरू हो सकता है.

मोदी का इस प्रोजेक्ट पर खास जोर है, लिहाजा मिनिस्ट्री को उम्मीद है कि अगले कुछ महीनों में एक विस्तृत प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार कर ली जाएगी. अधिकारियों ने बताया कि सरकार को पूरब से पश्चिम तक भारत की पूरी सीमा को कवर करने के लिए लगभग 5,300 किमी़ की नयी सड़कें बनानी होंगी और इस पर 12,000-14,000 करोड़ रुपये का खर्च आएगा. सरकार को पांच साल में यह प्रोजेक्ट पूरा होने की उम्मीद है. इस प्रोजेक्ट पर काम गुजरात और राजस्थान से शुरू होगा. उसके बाद पंजाब और जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड में भी काम होगा.

इसके बाद उत्तर प्रदेश और बिहार के तराई क्षेत्र में काम पूरा करने के बाद सिक्किम, असम, अरुणाचल प्रदेश से होते हुए मणिपुर और मिजोरम में भारत-म्यांमार बॉर्डर तक सड़कें बनायी जाएंगी. अंग्रेजी अखबार ने लिख है कि भारतमाला प्लान में रणनीतिक पहलू भी है. इससे सीमावर्ती इलाकों से बेहतर कनेक्टिविटी संभव होगी, जिनके एक बड़े हिस्से के उस पर चीन का शानदार रोड इंफ्रास्ट्रक्चर है. सड़कें बेहतर होने पर मिलिट्री ट्रांसपोर्ट बेहतर हो सकेगा. अधिकारियों ने कहा कि ये सड़कें बन जाने पर बॉर्डर ट्रेड भी बढ़ेगा. साथ ही, कई राज्यों में बेहतर सड़कों से आर्थिक गतिविधियों में तेजी आएगी. इस योजना में सड़कों का ज्यादातर हिस्सा पहाड़ी राज्यों में बनेगा, जहां कनेक्टिविटी और इकनॉमिक ऐक्टिविटी का मामला कमजोर है.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें