नयी दिल्ली : दूरसंचार एवं प्रसारण क्षेत्र के नियामक ट्राई को नियमों और नियमन का उल्लंघन करने वाले सेवाप्रदाताओं पर जुर्माना लगाने का अधिकार मिल सकता है. सरकार ने ट्राई को इस तरह के अधिकार प्रदान करने के लिए प्रस्ताव पेश किया है.
सूत्रों ने बताया, ‘‘दूरसंचार मंत्रालय ने जारी अंतर मंत्रालयी विचार विमर्श के दौरान कहा कि उसके आदेशों के अनुपालन में विफल रहने ओर साथ ही लाइसेंस के नियम और शर्तों को पूरा नहीं करने पर पारदर्शी प्रक्रिया के जरिये जुर्माना लगाने का अधिकार ट्राई के पास रहना चाहिए.’’
भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के पास दरों के नियमन और निगरानी तथा दूरसंचार और प्रसारण सेवाओं की गुणवत्ता और अन्य मानदंडों की निगरानी का अधिकार है. उपभोक्ता हितों के संरक्षण के लिए उसे ये सभी अधिकार मिले हुए हैं. लेकिन अभी तक उसके पास नियमों का पालन नहीं करने वाली कंपनियों पर जुर्माना लगाने का अधिकार नहीं है.
नियामक समय-समय पर सेवा प्रदाताओं के प्रदर्शन के बारे में रिपोर्ट लाता है. उसके सामने कई बार यह बात आती है कि दूरसंचार आपरेटर बिल संबंधी विवाद पर उपभोक्ताओं की शिकायतों का निपटान नहीं करते, लेकिन इसके बावजूद वह उन पर जुर्माना नहीं लगा पाता.
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