नयी दिल्ली: चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-जुलाई के दौरान अप्रत्यक्ष कर संग्रह में 3.9 प्रतिशत वृद्धि दर्ज की गई. हालांकि, इस दौरान सुस्त विनिर्माण गतिविधि के चलते सीमा शुल्क व उत्पाद शुल्क संग्रह में गिरावट दर्ज की गई. वित्त मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि चालू वित्त वर्ष के प्रथम चार महीने में अप्रत्यक्ष कर संग्रह करीब 1.54 लाख करोड रुपये रहा जो बीते वित्त वर्ष की इसी अवधि में 1.48 लाख करोड रुपये था. अप्रत्यक्ष कर संग्रह में उत्पाद एवं सीमा शुल्क और सेवाकर शामिल है.
अप्रत्यक्ष कर संग्रह में 3.9 प्रतिशत की वृद्धि पूरे साल 2014-15 के लिए बजट में निर्धारित 25 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि के लक्ष्य से काफी कम है. आलोच्य अवधि में उत्पाद शुल्क संग्रह 0.4 प्रतिशत घटकर 48,195 करोड रुपये रहा, जबकि सीमा शुल्क संग्रह 2.2 प्रतिशत घटकर 55,305 करोड रुपये रहा जो बीते साल की इसी अवधि में 56,526 करोड रुपये था. इस दौरान, हालांकि, सेवाकर संग्रह 16.4 प्रतिशत बढकर 50,850 करोड रुपये रहा.
सरकार ने वित्त वर्ष 2014-15 के लिए 6.24 लाख करोड रुपये के अप्रत्यक्ष कर संग्रह का लक्ष्य रखा है. अकेले जुलाई माह में अप्रत्यक्ष कर संग्रह 4.9 प्रतिशत बढकर 41,890 करोड रुपये रहा है. उत्पाद शुल्क प्राप्ति जुलाई में 7.5 प्रतिशत और सीमा शुल्क प्राप्ति 0.2 प्रतिशत बढी है. सेवाकर वसूली जुलाई 8.4 प्रतिशत बढी.
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