नयी दिल्ली: सरकारी क्षेत्र की गैस वितरक कंपनी गेल इंडिया लिमिटेड का इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही का शुद्ध लाभ 23 प्रतिशत घट गया क्योंकि इस दौरान उसे उंची दर पर एलएनजी का आयात करना पडा जबकि इसका अंतरराष्ट्रीय बाजार गिर रहा था.
कंपनी ने आज यहां जारी एक बयान में कहा कि इस वर्ष अप्रैल-जून तिमाही में उसका शुद्ध लाभ 621.44 करोड रुपये यानी 4.90 रुपये प्रति शेयर रहा. पिछले साल इसी अवधि में शुद्ध लाभ 808.17 करोड रुपये (6.37 रुपये प्रति शेयर) था. कंपनी ने आलोच्य तिमाही में एलएनजी की बिक्री में 190.30 करोड रुपये का नुकसान दिखाया है क्योंकि ग्राहकों ने कम दर पर दूसरे आपूर्तिकर्ताओं से इसकी खरीद शुरु कर दी.
गेल ने मई जून में 12-13 डालार प्रति यूनिट (एमएमबीटीयू) के भाव पर एलएनजी का आयात किया जबकि विदेशी बाजार में भाव गिर कर 10.5 डालर प्रति यूनिट तक आ गए थे. ऐसे में ग्राहकों ने सेल और गुजरात स्टेट पेट्रोलियम कार्पोरेशन जैसी कंपनियों की ओर रख कर लिया था.
कंपनी ने कहा है कि वह पहली तिमाही के नुकसान की भरपाई चालू तिमाही में कर चुकी है. कंपनी घरेलू परियोजनाओं की गैस को भी प्रशासित मूल्य व्यवस्था (एपीएम) के तहत बेचती है. इस गैस को फिलहाल 4.2 डालर प्रति यूनिट के भाव पर बेचा जाता है. आलोच्य अवधि में गेल का कारोबार 13,337 करोड रुपये के बराबर रहा जो चार प्रतिशत वृद्धि दर्शाता है.
बयान के अनुसार इस दौरान गैस कारोबार की आय 5.5 प्रतिशत बढ कर 11,669.09 करोड रुपये रही जबकि गैस परिवहन कारोबार से आय 34 प्रतिशत गिर कर 660.35 करोड रुपये रही. इसी तरह पेट्रो रसायन कारोबार से इसकी आय 10 प्रतिशत गिर कर 993 रुपये रहा.
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