काहिरा : पेरिस से 66 लोगों को लेकर काहिरा जा रहे इजिप्टएयर विमान 804 के भूमध्य सागर में दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद आज विमान के मलबे की तलाश के लिए व्यापक स्तर पर तलाश अभियान जारी है. वहीं मिस्र सेना का कहना है कि भूमध्यसागर में इजिप्टएयर का मलबा मिला है.
अपना रास्ता भटककर भूमध्यसागर में गिरे एयरबस ए 320 में सवार किसी भी व्यक्ति के जीवित बचे होने की संभावना नहीं है. उस दिन की विमान की यह पांचवी उडान थी और रडार से लापता होने के दौरान वह 37,000 फुट की उंचाई पर उडान भर रहा था. पेरिस के लिए उडान भरने से पहले विमान ट्यूनिशिया में रुका था.
मिस्र की नौसेना, वायुसेना और सेना फ्रांस, यूनान, ब्रिटेन और अमेरिका के सहयोग से उत्तरी मिस्र के समुद्री क्षेत्र में मलबे की खोज कर रही है.
यूनान के रक्षा मंत्री पैनोस कैम्मेनोस ने बताया कि भूमध्य सागर के उपर रडार की पहुंच से लापता होने से पहले विमान ‘अचानक अपना रास्ता भटक गया’. वह 90 डिग्री बायीं ओर मुडा और फिर 360 डिग्री दाईं ओर मुडकर रास्ता भटक गया. इसके बाद विमान 37,000 फुट से गिरकर 15,000 फुट की उंचाई पर आ गया.
विमान में चालक दल के 10 सदस्य (कॉकपिट क्रू के दो, केबिन क्रू के पांच और तीन सुरक्षा कर्मी) और 56 यात्री सवार थे. इजिप्टएयर ने बताया कि विमान में दो शिशु और एक बच्चा भी सवार थे. यात्रियों में मिस्र के 30 नागरिकों के अलावा 15 फ्रांसीसी, दो इराकी और ब्रिटेन, बेल्जियम, कुवैत, सउदी अरब, सूडान, चाड, पुर्तगाल, अलजीरिया और कनाडा के एक-एक यात्री सवार थे.
इजिप्टएयर ने शुरु में बताया था कि मिस्र के विदेश मंत्रालय ने विमान का मलबा मिलने की पुष्टि की है लेकिन बाद में उन्होंने इस दावे को वापस ले लिया. इजिप्टएयर के उपाध्यक्ष अहमद अदेल ने सीएनएन को बताया कि जब खोजकर्ता भूमध्य सागर में मलबे के करीब गए तो उन्होंने महसूस किया कि वह लापता विमान का मलबा नहीं है.
अदेल ने बताया, ‘मलबा मिलने पर हमने फिर अपना रुख सही किया, क्योंकि जो हमें मिला था वह हमारे विमान का मलबा नहीं था. इसलिए खोज एवं बचाव अभी भी जारी है.’ उन्होंने बताया कि विमान के रख रखाव की जांच समय पर पूरी हो गई थी और ‘विमान में किसी तकनीकी खराबी की सूचना’ नहीं थी.
सीसी के कार्यालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि विमान के लापता होने के कारणों के बारे में जांच शुरु करने के लिए नागर विमानन मंत्रालय को एक जांच समिति के गठन का आदेश दिया गया है. उन्होंने नागर विमानन मंत्रालय, सेना के खोज एवं बचाव केंद्र, नौसेना और वायुसेना को विमान के मलबे का पता लगाने के लिए हर संभव जरुरी उपाय करने का भी आदेश दिया है.
मिस्र के नागर विमानन मंत्री शरीफ फतही ने कहा कि हादसे के पीछे तकनीकी खराबी और आतंकी हमला दोनों संभावित कारण हो सकते हैं.
फतही ने कहा, ‘अगर आप स्थिति का गहन विश्लेषण करें तो भिन्न कार्रवाई या आतंकी हमले की संभावना तकनीकी विफलता की संभावना से कहीं ज्यादा है.’ इधर अमेरिका ने कहा है कि ‘‘इस वक्त निश्चित तौर पर’ वह नहीं जानता कि पेरिस से काहिरा जा रहे इजिप्टएयर विमान के लापता होने के पीछे क्या कारण हैं. बहरहाल, पेंटागन ने यह घोषणा की है कि उसने विमान के मलबे की तलाश में मदद के लिए एक निगरानी विमान तैनात किया है.
व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव जोश अर्नेस्ट ने कल बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने इस संबंध में कई बैठकें की हैं. उन्होंने बताया, ‘इस वक्त हम यह निश्चित तौर पर नहीं जानते कि विमान 804 (इजिप्टएयर) के लापता होने के पीछे क्या कारण हैं.’ उन्होंने कहा कि हादसे की जांच में अमेरिका मिस्र की सरकार एवं फ्रांस का पूरा सहयोग और संसाधन उपलब्ध कराने को तैयार है.