जमुई : रिमांड पर लिये जाने के बाद पूछताछ के दौरान जमुई के एक कैदी मुन्ना सिंह की पुलिस ने जम कर पिटाई कर दी. परिजनों का आरोप है कि पूछताछ के दौरान पुलिस ने प्राइवेट पार्ट में मिर्च व पेट्रोल डाल दिया.
इस घटना से कैदी मुन्ना सिंह की हालत बिगड़ गयी है. बेहतर इलाज के लिए उसे पटना रेफर कर दिया गया है. इधर, जेल में मुन्ना की पिटाई की खबर सुन जेल के सभी कैदी अनशन पर बैठ गये.
हालांकि अनशन पर बैठे कैदियों को जिला एवं सत्र न्यायाधीश ज्योति प्रसाद श्रीवास्तव ने शरबत पिला कर शांत कराया. बाद में उनके द्वारा मारपीट मामले में दोषी लोगों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई करने के आश्वासन के बाद कैदियों ने अपना अनशन तोड़ा. रविवार को परिजनों ने पुलिस की बर्बरतापूर्ण कार्रवाई के खिलाफ डीएम आवास के समक्ष प्रदर्शन किया.
इस दौरान पहुंचे एसपी व उसके अंगरक्षक के साथ परिजनों ने जम कर हाथापायी की. परिजनों ने सदर थाना परिसर में भी प्रदर्शन किया और रोड़ेबाजी की. इधर, मामले की गंभीरता को देख सदर थानाध्यक्ष को निलंबित कर दिया गया है. उल्लेखनीय है कि जमुई के एक कपड़ा व्यवसायी के अपहरण मामले में मुन्ना सिंह ने कोर्ट में आत्मसमर्पण किया था. पुलिस ने मुन्ना को रिमांड पर लिया था.
रविवार को जिला एवं सत्र न्यायाधीश ज्योति प्रसाद श्रीवास्तव व मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी दया लाल प्रसाद ने रविवार को सदर अस्पताल पहुंच कर पुलिस की पिटाई से घायल लखापुर निवासी मुन्ना सिंह से बयान लिया.
हालांकि मुन्ना सिंह कुछ भी बताने से असमर्थ नजर आये तो मौके पर मौजूद उनके पिता कुशेश्वर प्रसाद सिंह, फुआ रेणु कुमारी,कौशल कुमार,योगेंद्र सिंह आदि ने बताया कि मुन्ना सिंह के साथ पुलिस अधीक्षक दीपक वर्णवाल, सदर थानाध्यक्ष जीतेन्द्र कुमार, गिद्धौर थानाध्यक्ष सत्यव्रत भारती व एसपी के दो अंगरक्षकों द्वारा गिद्धौर थाना परिसर में बुरी तरह से मारपीट करने की बात कही.
साथ ही प्राइवेट पार्ट में पेट्रोल डालने, बिजली का करंट लगाने,आंख में मिर्च पाउडर डालने व हाथ एवं पैर के नाखूनों को रस्सी बांधकर खींचने की जानकारी दी .
* शरीर पर कई जगह हैं गहरे जख्म
जमुई : रिमांड पर लिये जाने के बाद पूछताछ के दौरान जमुई थाना पुलिस द्वारा दी गयी कठोर यातना से अब मुन्ना की हालत बिगड़ती जा रही है. उसके शरीर पर कई जगह गंभीर चोट के निशान बन गये हैं. रविवार को सदर अस्पताल में बेड पर सोये मुन्ना दर्द के कारण कराह रहा था और कुछ भी बोलने से असमर्थ था.
पुलिस जुल्म का खौफ उसके चेहरे पर साफ दिख रहा था. इसी बीच मानवाधिकार हनन का मामला देख स्वयं अस्पताल पहुंचे जिला जज ज्योति कुमार श्रीवास्तव उससे मिले. फिलहाल मुन्ना को बेहतर इलाज के लिए पटना रेफर कर दिया गया है. वह जिंदगी और मौत के बीच जूझ रहा है.
– पुलिस की बर्बरता
* प्राइवेट पार्ट में मिर्च व पेट्रोल डाला, बिगड़ी हालत, पटना रेफर
* जमुई जेल के कैदी बैठे अनशन पर, आश्वासन के बाद हुए शांत
* परिजनों ने किया प्रदर्शन, एसपी व अंगरक्षक से की हाथापायी
* मुन्ना से मिलने अस्पताल पहुंचे जिला जज, थानाध्यक्ष निलंबित