भारत की राजनीति में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का कद किसी से छिपा नहीं है. उन्होंने अपने राजनीतिक करियर की शुरूआत उस वक्त की जब वो लॉ की छात्रा थी. वो कांग्रेस की छात्र संगठन से जुड़ गयी. साल 1976 से 1980 तक वो पश्चिम बंगाल महिला कांग्रेस की महासचिव थी. साल 1984 उनके का राजनीतिक जीवन का सबसे यादगार पल था जब उन्होंने जाधवपुर सांसदीय क्षेत्र से उस वक्त के कद्दावर नेता सोमनाथ चटर्जी को हराया.सन 1991 में वो तत्कालीन प्रधानमंत्री पी.वी. नरसिम्हा राव की सरकार में मानव संसाधन विकास, युवा एवं खेल और महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की जिम्मेदारी संभाली. सन 1997 में ममता बनर्जी ने कांग्रेस से अलग होने का फैसला किया और खुद की नयी पार्टी टीएमसी का गठन किया. और सन 1999 में वो एनडीए में शामिल हो गयी. इसके बाद उन्होंने अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में रेल मंत्री की जिम्मेदारी संभाली. सन 2011 में ममता बनर्जी ने 34 साल सत्ता में रहे कम्युनिस्ट पार्टी को सत्ता से उखाड़ फेंका. ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी ने हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में भारी मतों से जीत हासिल कर तीसरी बार मुख्यमंत्री बनीं