हालांकि इस मामले को लेकर शीघ्र ही सीडब्ल्यूसी की बैठक होने वाली है. इतना ही नहीं, इन शिशुओं के भविष्य को लेकर सीडब्ल्यूसी ने सेंट्रल एडप्शन रिसर्च अथोरिटी (कारा) को चिट्ठी लिखने का भी निर्णय लिया है. सीडब्ल्यूसी के सदस्य सुबोध भट्टाचार्य का कहना है कि कारा के निर्देश के अनुसार ही आगे की कार्रवाई की जायेगी, क्योंकि चंदना चक्रवर्ती द्वारा संचालित नॉर्थ बंगाल पीपुल्स डेवलपमेंट सेंटर के अधीन बिमला शिशु गृह कारा अनुमोदित है. कारा के निर्देश पर ही सीआइडी जांच कर रही है. सीआइडी ने मुख्य आरोपी चंदना चक्रवर्ती सहित अब तक कुल सात लोग गिरफ्तार किये गये हैं. इनमें जलपाईगुड़ी तथा दार्जिलिंग जिले के दो चाइल्ड प्रोटेक्शन ऑफिसर भी शामिल हैं.
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होम कांड : दूसरे राज्यों से भी बरामद हो रहे हैं शिशु
जलपाईगुड़ी: चंदना चक्रवर्ती के होम से शिशुओं को बेच देने की घटना के बाद से एक पर एक खुलासे हो रहे हैं. चंदना चक्रवर्ती ने शिशुओं की बिक्री सिर्फ पश्चिम बंगाल में ही नहीं की, बल्कि दूसरे राज्यों में भी शिशु बेचे गये हैं. इस बात का खुलासा नौ शिशुओं के बरामद होने से हुआ […]
जलपाईगुड़ी: चंदना चक्रवर्ती के होम से शिशुओं को बेच देने की घटना के बाद से एक पर एक खुलासे हो रहे हैं. चंदना चक्रवर्ती ने शिशुओं की बिक्री सिर्फ पश्चिम बंगाल में ही नहीं की, बल्कि दूसरे राज्यों में भी शिशु बेचे गये हैं. इस बात का खुलासा नौ शिशुओं के बरामद होने से हुआ है. इससे पहले चंदना चक्रवर्ती के होम से लापता 11 शिशु बरामद हुए थे. अब नौ शिशुओं की बरामदगी से अब तक कुल 20 शिशु बरामद हो चुके हैं. इस मामले की जांच सीआइडी कर रही है.
सीआइडी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, उत्तर प्रदेश के इलाहाबाद तथा बिहार के पूर्णिया से भी शिशु बरामद हुए हैं. इससे जाहिर है कि चंदना चक्रवर्ती द्वारा संचालित बिमला शिशु गृह से गोद देने के नाम पर बच्चों की अवैध बिक्री की गई. जो नौ नये बच्चे बरामद हुए हैं, इनका कोई भी रिकार्ड चाइल्ड वेलफेयर कमेटी (सीडब्ल्यूसी) के पास नहीं है. सीआइडी का साफ-साफ कहना है कि बगैर किसी सरकारी कार्रवाई के मोटी रकम लेकर बच्चे बेच दिये गये हैं. इन शिशुओं की उम्र दो से तीन साल के बीच है. अब इन शिशुओं के भविष्य को लेकर सीडब्ल्यूसी के अधिकारी चिंतित हैं. फिलहाल शिशुओं को उनके अभिभावकों के हवाले ही कर दिया गया है. लेकिन इन नन्हें बच्चों का भविष्य आगे क्या होगा, इस बारे में कोई कुछ नहीं कह रहा है.
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