इसके अलावा विधि स्नातक की डिग्री भी जरूरी है. निलंबित निबंधन मान्य नहीं होगा. सिविल जज के लिए अधिकतम आयु सीमा 35 वर्ष, जबकि न्यूनतम आयु सीमा 22 वर्ष तय है. लिखित परीक्षा के आधार पर मेधा सूची तैयार की जायेगी. सिविल जज के लिए सरकार की तरफ से ऑनलाइन आवेदन देने को कहा गया है. 17 दिसंबर तक आवेदन मांगे गये हैं.
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जूनियर डिवीजन सिविल जज के लिए निबंधन जरूरी
रांची: झारखंड में जूनियर डिवीजन सिविल जज के लिए लॉ ग्रेजुएट (एलएलबी) के अधिवक्ता का वैध निबंधन अनिवार्य किया गया है. राज्य में कुल 46 सिविल जजों की नियुक्ति होनी है. इसके लिए आवेदन मांगे गये हैं. नियुक्ति को लेकर जो अर्हता तय की गयी है, उसमें स्पष्ट है कि आवेदक का एडवोकेट एक्ट 1961 […]
रांची: झारखंड में जूनियर डिवीजन सिविल जज के लिए लॉ ग्रेजुएट (एलएलबी) के अधिवक्ता का वैध निबंधन अनिवार्य किया गया है. राज्य में कुल 46 सिविल जजों की नियुक्ति होनी है. इसके लिए आवेदन मांगे गये हैं. नियुक्ति को लेकर जो अर्हता तय की गयी है, उसमें स्पष्ट है कि आवेदक का एडवोकेट एक्ट 1961 के तहत वैध निबंधन होना जरूरी है.
दूसरे राज्यों में स्नातक (कानून) की डिग्री है मान्य
झारखंड को छोड़ अन्य राज्यों में भी सिविल जज की नियुक्ति में विधि स्नातक को अर्हता में शामिल किया गया है. राजस्थान में इस पद के लिए मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से विधि स्नातक की डिग्री मान्य है. वहीं मध्यप्रदेश और पंजाब में भी मान्यता प्राप्त विवि से विधि स्नातक उत्तीर्ण होने को प्राथमिकता दी गयी है.
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