रांची : तुपुदाना के डुंगरी में मुठभेड़ में घायल पीएलएफआइ उग्रवादी फिरोज अंसारी से पुलिस ने रिम्स में पूछताछ की है. पूछताछ में उसने पुलिस को बताया है कि रुपये कमाने के उद्देश्य से वह संगठन में शामिल हुआ. पुलिस को उसने बताया कि संगठन के छोटे उग्रवादी लेवी वसूली करते हैं. उसका अधिकांश हिस्सा पीएलएफआइ के बड़ेे उग्रवादियों तक पहुंचता है. राशि का खर्च संगठन विस्तार और हथियार खरीदने के लिए होता है. पीएलएफआइ प्रमुख दिनेश गोप संगठन के लोगों को हथियार उपलब्ध कराता है.
फिरोज ने संगठन में पुराने उग्रवादियों के अलावा कुछ नये उग्रवादी के बारे में भी पुलिस को जानकारी दी है. फिरोज ने मुठभेड़ में शामिल अन्य उग्रवादियों के नामों का भी खुलासा किया है. पुलिस उनकी तलाश में है. उनकी गिरफ्तारी के लिए हटिया एएसपी प्रशांत आनंद के नेतृत्व में टीम का गठन किया गया है. एएसपी उससे हटिया, तुपुदाना, रांची व खूंटी की सीमा पर सक्रिय उग्रवादियों के बारे में जानकारी ले रहे हैं.
ज्ञात हो कि गत पांच नवंबर को हटिया एएसपी के नेतृत्व में पुलिस की टीम उग्रवादियों को घेरने के लिए डुंगरी गांव पहुंची थी, लेकिन पुलिस को देखते ही उग्रवादी पुलिस पर फायरिंग करते हुए भागने लगे थे. इस पर पुलिस ने जवाबी कार्रवाई की थी, जिसमें दो उग्रवादी घायल हुये थे. मुठभेड़ में घायल उग्रवादी फरोज अंसारी को पुलिस ने रिम्स से नौ नवंबर को गिरफ्तार किया था. पुलिस की जांच में यह स्पष्ट हो चुका है कि लेवी के लिए खुद फिरोज ही फोन करता था. दिनेश गोप के साथ भी उसके संबंध की पुष्टि हुई है.