जमशेदपुर: मुख्यमंत्री सह ऊर्जा मंत्री द्वारा शिलान्यास करने के एक साल बाद भी जमशेदपुर के गैर कंपनी इलाके में अंडरग्राउंड केबुलिंग समेत आधारभुत संरचना का निर्माण कार्य शुरू नहीं हो पाया है. जबकि प्रोजेक्ट को लेकर अबतक दो बार टेंडर निकला अौर एक एजेंसी मेसर्स इनर्गो को समय पर काम शुरू नहीं करने पर काम से हटाने की भी कार्रवाई की जा चुकी है. इधर, उर्जा विभाग ने नये सिरे से एजेंसी (मेसर्स वोल्टास) का चयन किया अौर कार्यादेश दिया,लेकिन एजेंसी ने तीन महीने के बाद भी धरातल पर काम शुरू नहीं किया है, इस कारण मार्च 2018 ही नहीं, बल्कि मार्च 2019 के समय सीमा में प्रोजेक्ट के पूरा होने पर संशय है.
शहर में अंडरग्राउंड केबुलिंग समेत अन्य आधारभुत संरचना के निर्माण के लिए वोल्टास को जल्द काम शुरू करने को आदेश दिया गया है, अबतक काम नहीं शुरू करने पर आपत्ति जताते हुए एजेंसी को चेतावनी भी दिया गया है.
अमरनाथ मिश्रा, विद्युत जीएम, जमशेदपुर एरिया बोर्ड, झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड, जमशेदपुर.
जमीनी हकीकत
टेंडर से काम मिलने के बाद एजेंसी ने अंडरग्राउंड केबुलिंग, तार खींचने, नये पोल लगाने, पावर सब स्टेशन के निर्माण समेत समेत आधारभुत संरचना के लिए अबतक जमीन पर एक काम शुरू नहीं किया है. कंपनी ने तीन माह से सर्वे का काम किया है, लेकिन नियमानुसार एक दिसंबर से तेजी के साथ जमीन पर काम शुरू करना था, इसमें एक काम भी शुरू नहीं हो पाया है. विद्युत अधीक्षण अभियंता मनमोहन कुमार के अनुसार एजेंसी ने काम के नाम पर कुछ मटेरियल (पोल, कंडक्टर समेत अन्य) खरीदकर लाया है, पैथर केबुल का इंतजार किया जा रहा है.
अब तक ये काम हुआ
मेसर्स वोल्टास के दावा के अनुसार गैर कंपनी इलाके शहर में अंडरग्राउंड केबुलिंग 75.31 सीक्यूएम, 33 केवी हाइटेंशन लाइन के लिए 45.3 सीक्यूएम, 11 केवी हाइटेंशन 47.31 सीक्यूएम, एचटी केबुल 21.39 सीक्यूएम, एलटी केबुल 422.07 सीक्यूएम, डीटीआर : 828, पावर सब स्टेशन : 10 के लिए सर्वे पूरा किया गया है. 10 में से सात पावर सब स्टेशन का जमीन चिह्नित हुआ, लेकिन अबतक एक पावर सब स्टेशन के लिए चिह्नित जमीन हैंडओवर हो पाया है. पावर सब स्टेशन निर्माण शुरू करने के लिए मिट्टी जांच के लिए भेजा गया है.
ये काम होना था
आरएपीडीआरपी पार्ट बी के तहत जमशेदपुर के गैर कंपनी इलाके में 250 करोड़ से ज्यादा की लागत से अंडरग्राउंड केबुलिंग, दस पावर सब स्टेशन का निर्माण, 33 केवी, 11 केवी, सर्विल लाइन में तार लगाया जाना था.