घीकूली में दो बच्चों की मौत का मामला
गालूडीह : गालूडीह थाना क्षेत्र के घीकूली गांव में संदिग्ध परिस्थिति में दो बच्चों की मौत के दूसरे दिन दोनों को जिंदा करने के लिए दर्जन भर ओझा झाड़–फूंक करते रहे. बच्चों की मौत सांप काटने से हुई, या फूड प्वाइजनिंग से या कुछ और कारण है, इसका खुलासा अब तक चिकित्सक नहीं कर पाये हैं.
शुक्रवार सुबह में दोनों बच्चे आदित्य सिंह (13) और लखन सिंह (13) की संदिग्ध हालत में मौत हो गयी थी. एक बच्चे की मौत घाटशिला अनुमंडल अस्पताल में तो दूसरे बच्चे की मौत एमजीएम में हुई थी. आदित्य के शव को शुक्रवार सुबह में ही अस्पताल से गांव पहुंचा गया था, जबकि लखन सिंह का शव शुक्रवार शाम में एमजीएम से गांव पहुंचा था. दोनों बच्चों की जांच के बाद चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया था.
इसके बावजूद ग्रामीण और परिजन शुक्रवार सुबह से शनिवार दोपहर तक करीब 25 घंटे तक लाश को जिंदा करने का अंधविश्वास रूपी खेल खेलते रहे. शुक्रवार से शनिवार तक कई जगहों से लगभग आधे दर्जन ओझाओं को बुलाया गया. कथित ओझाओं ने लाश को जिंदा करने के लिए 25 घंटे तक ढोंग रचते रहे. अंतत: ओझाओं ने जब जबाव दे दिया, तो ग्रामीणों और परिजनों ने दोनों शवों को पोस्टमार्टम कराने के लिए पुलिस को ले जाने दिया.
सुबह में ही पुलिस पहुंची
दोनों बच्चों की संदिग्ध मौत होने से पुलिस शनिवार सुबह में शवों को पोस्टमार्टम कराने के लिए घीकूली गांव पहुंची थी, परंतु ग्रामीण तब झाड़–फूंक करा रहे थे. कोई कह रहा था सांप काटा है. कोई कह रहा था डाइन बच्चों को खा गयी. जितनी मुंह उतनी बात थी. कौन किसको समझाता, सो पुलिस भी ग्रामीणों के भ्रम मिटने तक इंतजार करती रही. अंतत: अंधविश्वास हारा और दोपहर 12 बजे के बाद दोनों शवों को पोस्टमार्टम के लिए घाटशिला ले जाया गया.
डॉ मार्डी ने किया पोस्टमार्टम
घाटशिला अनुमंडल अस्पताल के डॉ सुराई मार्डी ने दोनों बच्चों के शवों का पोस्टमार्टम किया. उन्होंने कहा कि रिपोर्ट आने तक कुछ कहना मुश्किल है.
कई जनप्रतिनिधि पहुंचे
घटना की सूचना पाकर भाजपा नेता लक्ष्मण टुडू, रामजीत मार्डी, हराधन सिंह समेत अन्य कई दलों के नेता, कार्यकर्ता और पंचायत प्रतिनिधि घीकूली गांव पहुंचे और पोस्टमार्टम हाउस भी गये. शोकाकुल परिजनों को ढांढ़स भी बंधाया. पूरे गांव में शोक की लहर है.
25 घंटे तक दोनों शवों का होता रहा झांड़–फूंक
– आधे दर्जन कथित ओझाओं ने मुर्दे को जिंदा करने का रचा ढोंग
– शनिवार दोपहर में जब ओझाओं ने जबाव दे दिया, तो परिजन पुलिस के मदद से दोनों बच्चों के शवों को ले गये पोस्टमार्टम कराने घाटशिला
– पुलिस सुबह ही लाश लेने पहुंची थी, ताकि पोस्टमार्टम हो सके
– परिजन एवं ग्रामीण झाड़–फूंक के चक्कर में दोपहर तक रोके रखा
घीकूली गांव में है मातम, नहीं जल रहे चूल्हे
गालूडीह थाना क्षेत्र के घीकूली गांव में शुक्रवार को एक साथ दो संगे चचेरे भाइयों आदित्य सिंह और लखन सिंह की मौत से पूरा गांव सदमें में हैं. गांव में कल से ही मातम पसरा है. कल से अब तक गांव के किसी भी घर में चूल्हे नहीं जले हैं. हर घर में मातम है. गांव में सन्नाटा है. जिन घरों के दो बच्चों की मौत हुई है, वहां महिला विलाप कर रही थी. ग्रामीणों का कहना था कि घटना दुखद है.
ग्रामीण इस बात को लेकर आश्चर्य में थे की मौत कैसे हुई. कुछ समझ में नहीं आ रहा है. ग्रामीण इस बात को लेकर भी आश्चर्य में थे कि मरने के बाद भी बच्चों का शरीर नरम है. आंखे सफेद हो गये हैं. शरीर में जहर फैलने का लक्षण नहीं दिख रहा था. अधिकांश ग्रामीण बच्चों की मौत को अंधविश्वास से जोड़ कर देख रहे थे.