सुपौल : बिहार माध्यमिक शिक्षक संघ के बैनर तले जिले के शिक्षकों ने सोमवार को विभिन्न मांगों को लेकर समाहरणालय के समक्ष धरना-प्रदर्शन का आयोजन किया. धरना का नेतृत्व कर रहे जिला माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष डॉ विंदेश्वर मंडल एवं सचिव दीपक कुमार ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय द्वारा जारी आदेश के बावजूद राज्य सरकार द्वारा शिक्षकों का उचित वेतनमान लागू नहीं किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि एक जुलाई 2015 से माध्यमिक शिक्षकों के लिये लागू वेतनमान अपमान जनक है.
बिहार के माध्यमिक शिक्षक प्राथमिक विद्यालयों के शिक्षकों से उच्चतर वेतनमान का लाभ पिछले तमाम वेतन आयोगों की अनुसंशाओं के आलोक में पाते रहे है, लेकिन माध्यमिक व प्राथमिक शिक्षकों को 5200-20200 का वेतनमान देकर उन्हें अपमानित किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के साथ संघ का लिखित समझौता हुआ था. जिसमें 9300-34800 का न्यूनतम वेतनमान देने का आश्वासन दिया गया था. 26 अक्तूबर 2016 को उच्चतम न्यायालय ने भी यह निर्णय जारी किया है.
संघ के वक्ताओं ने कहा कि समान कार्य करने वाले शिक्षकों को पुराने शिक्षकों की तरह समान वेतन का लाभ मिलना चाहिये. लेकिन सरकार ऐसा नहीं कर शिक्षकों को अपमानित एवं प्रताड़ित कर रही है. मौके पर मिश्रीलाल ठाकुर, गोपाल कुमार झा, असीम कुमार ठाकुर, गीतांजलि, रोशनी कुमारी, लालबहादुर पासवान, प्रवीण कुमार झा, इंद्रनारायण मेहता, उमेश चौधरी, ब्रह्मदेव यादव, ललन कुमार, आलोक राज, सुमन कुमार, संगीता कुमारी, आनंद भारती, ब्रजेश कुमार, विक्टर आदि मौजूद थे.