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चढ़ा पारा, बदला मौसम का मिजाज

चढ़ा पारा, बदला मौसम का मिजाजफोटो-08-गेहूं के फसल की सिंचाई करता किसान. 09-ग्राहक का इंतजार करता दुकानदाररबी की खेती पर मंडराया संकट, गरम कपड़ों का बाजार सिमटा तापमान में तेजी से हो रहे उतार-चढ़ाव ने बढ़ायी किसानों की चिंताजनवरी माह में औसत अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस तक संवाददाता, सीवान.मौसम में तेजी से आ रहे […]

चढ़ा पारा, बदला मौसम का मिजाजफोटो-08-गेहूं के फसल की सिंचाई करता किसान. 09-ग्राहक का इंतजार करता दुकानदाररबी की खेती पर मंडराया संकट, गरम कपड़ों का बाजार सिमटा तापमान में तेजी से हो रहे उतार-चढ़ाव ने बढ़ायी किसानों की चिंताजनवरी माह में औसत अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस तक संवाददाता, सीवान.मौसम में तेजी से आ रहे बदलाव का जनजीवन से लेकर खेती-किसानी तथा कारोबार पर भी प्रतिकुल असर साफ देखने को मिल रहा है.दिन में धूप निकलने से जहां लोगों को राहत मिल रही है. उधर रबी की फसल प्रभावित होने की चिंता किसानों को सता रही है. गरम कपड़ों के कारोबारी उम्मीद से कम ठंड पड़ने से व्यवसाय प्रभावित होने से परेशान हैं. अगले एक पखवारे के तापमान का मौसम विज्ञानियों को अनुमान है कि दिन में हल्की धूप रहेगी.औसतन अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस रहने की उम्मीद है.आगामी 14 जनवरी से 21 जनवरी तक आसमान में बादल छाये रहने की संभावना है,वहीं 16 जनवरी से 18 जनवरी के बीच बारिश की उम्मीद है.औसत से कम ठंड का असर जनजीवन पर साफ देखने को मिल रहा है.विगत वर्ष में मौजूदा मौसम से कम तापमान रहा था.जिससे ठंड का लोगों ने अधिक एहसास किया.इस बार अनुमान के विपरित अब तक के मौसम से लोग हैरान हैं.पर्यावरणविदों के मुताबिक ग्लोबल वार्मिंग का असर है कि मौसम में तेजी से उतार चढ़ाव देखने का मिल रहा है.यहां जीव से लेकर वनस्पति तक के लिए चिंता का विषय है.रबी का फसल प्रभावित होने की चिंता :मौसम के असर को देख किसान चिंतित हैं.खेतों में कम नमी के कारण इस बार गेहूं के फसल को कम से कम दो से तीन बार सिंचाई की जरूरत पड़ रही है.जबकि आमतौर पर खेतों में पर्याप्त नमी की स्थिति में एक ही सिंचाई से गेहूं की अच्छी पैदावार हासिल की जा सकती है.इसके अलावा कोहरा पड़ने से भी गेहूं की फसल को लाभ मिलता है.इस बार लगातार पिछले एक सप्ताह से कोहरा न पड़ने से फसलों पर प्रतिकुल असर पड़ रहा है.तेलहन व दलहन की पैदावार पर भी मौसम की बेरूखी का असर प़ड़ने लगा है.मौसम में बदलाव के चलते आगे के फसलों पर भी असर पड़ने की संभावना है.यह देख किसानों के होश उड़ गये हैं.जिला कृषि विज्ञान केंद्र के कृषि वैज्ञानिक डा.आरपी प्रसाद कहते हैं कि फसल के अनुसार जरूरी तापमान में एक से दो फीसदी भी कमी या अधिकता होने पर पैदावार पर चालिस फीसदी तक असर पड़ सकता है.गरम कपड़े के कारोबारी परेशान :मौसम का असर कारोबार पर भी साफ देखने को मिल रहा है.कारोबारियों को अधिक ठंड की उम्मीद थी.जिसके चलते मौसम की शुरूआत में ही गरम कपड़ों से दूकानें सज गयी.राजेंद्र पथ स्थित कपड़ा कारोबारी संजय सिंह कहते हैं कि गत वर्ष जितनी दिसंबर माह के अंत तक कारोबार हुआ था.उसके आधे भी इस बार गरम कपड़े नहीं बिके हैं.यहीं चिंता तिब्बती बाजार के नाम से गरम कपड़ों की प्रत्येक वर्ष अस्पताल रोड में दुकान लगाने वाले कारोबारी भी जता रहे हैं.उनका गत वर्ष के अनुपात में इस बार चालीस फीसदी कम कारोबार अब तक हुआ है.दिन के चंद घंटे ही दुकानों पर ग्राहकों की भीड़ नजर आ रही है.मौसम में उतार-चढ़ाव ने बिगाड़ी सेहत :तेजी से मौसम में हो रहे उतार चढ़ाव का असर लोगों के सेहत पर भी पड़ा है.सर्दी जुकाम,हाइपर टेंसन,वायरल फीवर,हृदय रोग व चर्म रोग की शिकायतें बढ़ गयी है.चिकित्सक डा.मुकेश कुमार कहते हैं कि मौजूदा मौसम में थोड़ी भी लापरवाही जानलेवा साबित हो सकती है.सूगर व रक्तचाप के मरीजों को बदलते मौसम मे अपना खास ख्याल रखना चाहिए.ऐसे मरीजों को नियमित स्वास्थ्य परीक्षण कराना चाहिए.साथ ही खानपान पर विशेष ध्यान देना चाहिए.सुपाच्य व वसा रहित भोजन उपयुक्त होता हैं.एक नजर मौसम का हाल (संभावित तापमान)दिनांक अधिकतम न्यूनतम9 जनवरी 25 1410 जनवरी 23 1111 जनवरी 23 0912 जनवरी 23 1013 जनवरी 24 0914 जनवरी 26 1115 जनवरी 27 1116 जनवरी 28 0917 जनवरी 27 1518 जनवरी 28 1619 जनवरी 28 1620 जनवरी 27 1621 जनवरी 27 1422 जनवरी 27 1323 जनवरी 28 13

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