पटना : नयी तकनीक युक्त कारों के स्वचालित दरवाजे जिंदगी बचाने की जगह मौत की वजह बनते जा रहे हैं. आये दिन बंद कार में दम घुटने से मौत की खबरें सामने आती रहीं हैं. इनके आंकड़े बढ़ते जा रहे हैं. ऐसे में इनसे बचने की जुगत अहम हो गयी है. ऐसे में इन घटनाओं के मद्देनजर कार निर्माता कंपनियों को ऐसी तकनीक खोजनी होगी, जिससे कार के दरवाजे तकनीकी गलती से लॉक न हो जाएं. फिलहाल ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, इस संदर्भ में कार धारकों को खास ध्यान देना चाहिए.
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सावधान, कहीं आपके बच्चे भी न हो जाएं हादसे के िशकार
पटना : नयी तकनीक युक्त कारों के स्वचालित दरवाजे जिंदगी बचाने की जगह मौत की वजह बनते जा रहे हैं. आये दिन बंद कार में दम घुटने से मौत की खबरें सामने आती रहीं हैं. इनके आंकड़े बढ़ते जा रहे हैं. ऐसे में इनसे बचने की जुगत अहम हो गयी है. ऐसे में इन घटनाओं […]
ये बरतें सावधानियां
बच्चों को कभी भी कार के अंदर अकेला छोड़ कर न जाएं. भले ही कार बंद हो या इंजन ऑन हो, अगर करना पड़े तो शीशे थोड़े खुले रखें.
समझदार बच्चों को इस संदर्भ में समय-समय पर जानकारी दें कि कार के शीशे बंद करके किसी भी कीमत पर न खेलें.
कार खेल की जगह नहीं है,इसलिए बच्चों को उससे दूर ही रहने को कहें.
कार बंद हो, तो एसी को फ्रेश एयर मोड पर रखें.
कार को हमेशा खुली जगह पर ही खड़ी करें, बंद गैराज में एसी चला कर बिल्कुल भी कार में न बैठें.
कार के एसी को थोड़ी-थोड़ी देर में फ्रेश एयर मोड पर भी चलाना चाहिए, भले केबिन ठंडा होने में वक्त लगे.
अक्सर गर्मी से बचने के लिए लोग अपनी कार में एसी ऑन करके सो जाते हैं, ऐसा बिल्कुल न करें.
कार की रेगुलर सर्विसिंग कराते रहें, खासतौर पर एसी का पूरा सिस्टम जरूर चेक कराएं.
कार के स्वचालित दरवाजे कभी कभी अपने आप बंद हो जाते हैं. दरअसल ऐसा एयर प्रेशर से होता है. इसलिए शीशे तोड़ने के लिए कार के अंदर कुछ न कुछ अवश्य रखें, जिसके जरिये आपात काल में उसका इस्तेमाल किया जा सके.
कार में एसी इस तरह बनता है खतरनाक
अगर कार का एसी चल रहा हो और सर्कुलेशन मोड पर हो, तो जहरीली गैस लगातार बढ़ती रहती है. इसमें ऑक्सीजन की मात्रा घट जाती है. कार्बन मोनो ऑक्साइड की मात्रा अत्याधिक बढ़ जाती है. बिना ऑक्सीजन के कोई भी व्यक्ति केवल तीन मिनट जी सकता है.
गैस का असर एकदम नहीं होता, लेकिन अगर कार में लोग सो रहे हों, तो धीरे-धीरे वे गैस की चपेट में आकर बेहोश हो सकते हैं और उनकी मौत भी हो सकती है.
अगर आसपास कोई गैस का स्रोत है या कूड़ा पड़ा है तो फ्रेश एयर मोड पर एसी चलाने पर भी गैस केबिन में घुस सकती है.
हादसे के कारण
कार के केबिन में एसी के माध्यम से या किसी और जगह से कोई जहरीली गैस प्रवेश कर जाये, तो उस में बैठे लोगों का दम घुट सकता है. ऐसे हादसे चलती कार में नहीं होते, सिर्फ खड़ी कार में होते हैं.
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