Advertisement
खटारा दमकल के भरोसे आग से सुरक्षा की ”गारंटी”
अनदेखी. संसाधनों की कमी से जूझ रहा जिले का अग्निशमन विभाग, ट्रेंड कर्मचारियों का भी अभाव अगलगी की घटनाओं में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. पिछले वर्षों की तुलना में इस वर्ष आग लगने की कई बड़ी घटनाएं हो चुकी हैं. बिहार अग्निशमन सेवा के तहत कार्य कर रहे जिला स्थित विभाग में संसाधनों व […]
अनदेखी. संसाधनों की कमी से जूझ रहा जिले का अग्निशमन विभाग, ट्रेंड कर्मचारियों का भी अभाव
अगलगी की घटनाओं में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. पिछले वर्षों की तुलना में इस वर्ष आग लगने की कई बड़ी घटनाएं हो चुकी हैं. बिहार अग्निशमन सेवा के तहत कार्य कर रहे जिला स्थित विभाग में संसाधनों व कर्मचारियों का घोर अभाव है. हालांकि, मार्च माह में नये कर्मचारियों की बहाली के बाद स्थिति में सुधार हुआ है. इसके बावजूद कर्मचारियों की कमी समस्या का कारण बनी हुई है. 14 से 20 अप्रैल तक अग्निशमन सेवा सप्ताह मनाया जा रहा है. इसके तहत जिले में कई कार्यक्रम हो रहे हैं. साथ ही उजागर हो रहा है इसकी कमियां भी.
नवादा (नगर) : अगजनी की घटना मानवीय भूल या दुश्मनी में जानबूझ कर होती है. अग्निशमन विभाग अगलगी की घटना को रोकने के लिए तत्परतापूर्वक काम करने का दावा करता है. सीमित संसाधनों में सक्रिय रूप से सेवा देने का काम अग्निशमन सेवा द्वारा किया जा रहा है. पिछले वर्षों की अपेक्षा इस वर्ष आगजनी की अधिक घटनाएं देखने को मिल रही हैं.
जिले के कई प्रखंडों में अग्निशमन सेवा कार्यालय बना कर स्थानीय स्तर पर होनेवाली अगलगी की घटना को रोकने की बातें कहीं जा रही हैं. लेकिन, संसाधनों की कमी व कर्मचारियों का अभाव इस उद्देश्य को पूरा करने में बाधा बन रहा है. जिले में अप्रैल माह तक करीब 60 से अधिक घटनाएं हो चुकी हैं. इन स्थानों पर दमकल विभाग के कर्मचारी पहुंच कर न केवल आग बुझा रहे हैं, बल्कि होनेवाले नुकसान को भी कम से कम करने में ये भूमिका निभा रहे हैं.
पिछले वर्षों की तुलना में बढ़ीं अगलगी की घटनाएं : वर्ष 2014 में अग्निशमन सेवा के आंकड़ों के अनुसार, 80 अग्निकांड की घटनाएं पूरे जिले में हुईं. इसमें 48 घटनाएं ग्रामीण क्षेत्रों में हुईं, जबकि 32 घटनाएं शहरी क्षेत्र में हुई. इन घटनाओं में आर्थिक नुकसान तो हुआ, लेकिन किसी प्रकार के जानमाल की क्षति नहीं हुई.
आंकड़ों के अनुसार, 2014 में चार करोड़ 44 लाख 55 हजार रुपये की संपत्ति स्वाहा हो गयी थी, जबकि अग्निशमन विभाग की सक्रियता के कारण दो करोड़ 98 लाख 15 हजार रुपये की संपत्ति को बचाने में सफलता मिली थी.
इसी प्रकार वर्ष 2015 में अगलगी की 74 घटनाएं हुईं. इनमें ग्रामीण इलाकों में 41 व शहरी क्षेत्र में 33 घटनाएंहुई. 2015 में हुईं अगलगी की घटनाओं में करीब 77 लाख 75 हजार रुपये की संपत्ति जल कर स्वाहा हो गयी थी, जबकि एक करोड 47 लाख 15 हजार रुपये की संपत्ति को जलने से बचा लिया गया. वर्ष 2015 में हुई अगलगी की घटनाओं में एक व्यक्ति को जान भी गवानी पड़ी थी. लेकिन, 2016 में अब तक हुई अगलगी ने पिछले साल के सभी रिकार्ड तोड़ दी है. अब तक 67 से अधिक अगलगी की घटनाएं हो चुकी हैं. इनमें लाखों रुपये का नुकसान हुआ है. दमकल ने कई स्थानों पर पहुंच कर आग पर काबू पाया. लेकिन, कई ग्रामीण क्षेत्रों में दमकल नहीं पहुंचने के कारण खेत, खलिहान व घर जल कर राख हो गये.
संसाधनों की है कमी : अग्निशमन सेवा विभाग के पास संसाधनों का अभाव है. आपदा प्रबंधन को ध्यान में रखते हुए प्रखंड स्तर तक दमकल की पहुंच बनाने का प्रयास किया जा रहा है. जिले के नवादा व रजौली अनुमंडल के अलावा हिसुआ, वारिसलीगंज, कौआकोल व सिरदला आदि प्रखंडों में वाटर मिस्ट टेक्नोलॉजी के तहत आग बुझाने का दमकल उपलब्ध कराया गया है.
यह दमकल इतना छोटा है कि बड़े पैमाने पर लगी आग को बुझा पाना इससे संभव नहीं है. हालांकि, ग्रामीण क्षेत्रों के खेत व खलिहानों में लगी आग को रोकने के लिए यह तत्काल प्रखंड क्षेत्र में उपलब्ध रहता है. केवल तीन सौ लीटर पानी इस दमकल द्वारा घटना स्थल तक ले जाया जा सकता है. छोटे स्तर पर लगी आग को बुझाने में यह गाड़ी सक्षम है. लेकिन, बड़े पैमाने पर हुए घटना को इससे नहीं रोका जा सकता.
जिला मुख्यालय नवादा में तीन दमकल हैं. इसमें एक खराब होने के कारण बेकार पड़ा है. वहीं, एक 28 सौ लीटर क्षमता वाला दमकल व एक वाटर मिस्ट टेक्नोलॉजी के दमकल के भरोसे जिले में सुरक्षा व्यवस्था का काम चल रहा है. रजौली में चार हजार पांच सौ लीटर क्षमता वाला दो दमकल है, जो घटना स्थल पर पहुंच कर आग को बुझाते हैं.
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement