अमदाबाद : प्रखंड में गंगा व महानंदा नदी का कटाव अमदाबाद प्रखंडवासियों के लिए बहुत बड़ी समस्या बन गयी है. कटाव निरोधी कार्य ससमय नहीं कराया गया तो इस प्रखंड की अस्तित्व ही धीरे-धीरे खत्म हो जायेगी. यह समस्या दिनों-दिन विकराल होते जा रही है. जानकारी के अनुसार अमदाबाद प्रखंड के समीपवर्ती राज्य पश्चिम बंगाल […]
अमदाबाद : प्रखंड में गंगा व महानंदा नदी का कटाव अमदाबाद प्रखंडवासियों के लिए बहुत बड़ी समस्या बन गयी है.
कटाव निरोधी कार्य ससमय नहीं कराया गया तो इस प्रखंड की अस्तित्व ही धीरे-धीरे खत्म हो जायेगी. यह समस्या दिनों-दिन विकराल होते जा रही है.
जानकारी के अनुसार अमदाबाद प्रखंड के समीपवर्ती राज्य पश्चिम बंगाल व झारखंड राज्य से सटे चौकिया पहाड़पुर पंचायत के जमुनतल्ला व कोसी जली टोला गांव की नामों-निशान खत्म हो गयी है. उक्त दोनों गांव कट कर गंगा नदी में समा गयी है. उक्त दोनों गांव के लोग भगवान टोला गांव के समीप शंकर बांध पर किसी तरह गुजर-बसर कर रहे हैं.
इन परिवारों के समक्ष भोजन, पानी, रोजगार, बसोबास के लिए जमीन, लड़का-लड़की की शादी कराना आदि जैसी समस्या उत्पन्न हो गयी हैं. इन परिवारों के बच्चे भी शिक्षा से वंचित हो रहे हैं.
जमुनतल्ला के कुछ परिवार झारखंड राज्य के महाराजपुर में कुछ बस गये तो कुछ लोग पश्चिम बंगाल में जाकर बस रहे हैं. जो व्यक्ति यहां रह गये हैं. वह आज भी विस्थापन दंश झेल रहे हैं.
कहते हैं विस्थापित परिवार के लोग
महेंद्र सिंह, अयोध्या प्रसाद सिंह, सुदामा सिंह, जेठू चौधरी, खुशीलाल दास सहित दर्जनों लोगों ने बताया कि गंगा नदी के कटाव से वर्ष 2011 में हमलोग विस्थापित हो गये थे. इसके बाद गंगा नदी से करीब दो किमी दूरी पर अपने-अपने जमीन में घर बनाया गया.
लेकिन वहां भी गंगा नदी छड़ी, पुन: गंगा नदी से हमलोग विस्थापित हो गये, तब कुछ लोग पश्चिम बंगाल और कुछ लोग झारखंड भाग गये. हमलोग यहीं रह गये. हमलोगों पर किसी का ध्यान नहीं है. रहने के लिए घर नहीं है. खाने के लिए अनाज नहीं है. शादी-विवाह करने के लिए रुपये नहीं है. हमलोग भगवान भरोसे जी रहे हैं. हमलोगों को देखने वाला कोई नहीं है.