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मिड डे मील में अब नहीं चलेगा घालमेल

वेब पोर्टल पर दर्ज होंगी एमडीएम से जुड़ी सूचनाएं भभुआ नगर : प्राइमरी स्कूलों में सरकार द्वारा चलायी जा रही मध्याह्न भोजन ( मिड डे मील) योजना पर अब कड़ी नजर रहेगी. स्कूलों के हेडमास्टर को अब मिड डे मील के प्लेट से लेकर चावल तक की सूचनाएं देनी होंगी. केंद्र सरकार ने मध्याह्न भोजन […]

वेब पोर्टल पर दर्ज होंगी एमडीएम से जुड़ी सूचनाएं
भभुआ नगर : प्राइमरी स्कूलों में सरकार द्वारा चलायी जा रही मध्याह्न भोजन ( मिड डे मील) योजना पर अब कड़ी नजर रहेगी. स्कूलों के हेडमास्टर को अब मिड डे मील के प्लेट से लेकर चावल तक की सूचनाएं देनी होंगी.
केंद्र सरकार ने मध्याह्न भोजन योजना की समीक्षा शुरू कर दी है. विद्यालयों में मध्याह्न भोजन की स्थिति क्या है, इसकी गुणवत्ता क्या है, मध्याह्न भोजन के अंतर्गत बच्चों को जो खाना परोसा जा रहा है, वह कितना पौष्टिक है समेत अन्य तरह की जानकारियां लेकर वेब पोर्टल पर डालने का निर्देश जारी किया गया है, ताकि एमडीएम की गुणवत्ता की जानकारी प्राप्त हो सके. इस बाबत मध्याह्न भोजन योजना के निदेशक ने जिला कार्यक्रम पदाधिकारियों को निर्देश जारी किया है, जिसमें 25 मई तक वेब पोर्टल पर मध्याह्न भोजन योजना से संबंधित विद्यालय स्तर की सूचनाएं अनिवार्य रूप से दर्ज करने के लिए कहा गया है.
इसको लेकर निदेशालय स्तर पर आयोजित कार्यशाला में डीपीओ को प्रशिक्षण भी दिया गया है. जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (मध्याह्न भोजन योजना) अमेरिका प्रसाद ने बताया कि इसके अंतर्गत डाटा प्रविष्टि का काम जिले में प्रारंभ कर दिया गया है.
इस वेबसाइट दर्ज होंगी सूचनाएं
सभी जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (एमडीएम) को जारी निर्देश में निदेशक ने कहा है कि एमडीएमएसबिहार डाट ओआरजी पर एमडीएम संचालित विद्यालयों की संपूर्ण जानकारी दर्ज करनी है.
50 सवालों के देने होंगे जवाब : इसके अंतर्गत विद्यालयों को एमडीएम से जुड़े 50 सवालों के जवाब देने हैं. इसके अंतर्गत अन्य तथ्यों के अलावा यह भी बताना होगा कि एमडीएम का खाना कौन बनाता है, कब किस दिन क्या बनता है, कितने बच्चे एमडीएम खाते हैं, एमडीएम के लिए विद्यालय में कितने प्लेट हैं. पता चला है कि करीब 50 सवालों का विद्यालयवार जवाब देना है.
जिले में 1203 स्कूलों में बनता है एमडीएम : जिला कार्यक्रम पदाधिकारी एमडीएम ने बताया कि जिले में कुल 1203 विद्यालयों में मध्याह्न भोजन योजना के अंतर्गत बच्चों को खाना दिया जाता है. इसके लिए हर दिन का अलग-अलग मेनू बना हुआ है. अधिकारी ने बताया कि प्रतिदिन मेनू के अनुसार बच्चों को खाना परोसा जाता है.
क्या कहते हैं अधिकारी
सर्वोच्च न्यायालय में आये एक पिटीशन के अंतर्गत सरकार ने एमडीएम की समीक्षा शुरू की है. इसके तहत विद्यालयवार एमडीएम की जानकारी वेब पोर्टल पर प्रविष्ट कराने का निर्देश दिया गया है. जिसकी शुरुआत जिले में हो चुकी है.
अमेरिका प्रसाद, जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, एमडीएम, कैमूर

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