अररिया : जिले में गबन का एक और स्याह इबारत लिखी जा रही है़ पढ़ने की ललक पैदा करने के लिए व गरीब, वंचित तबकों के छात्रों क भविष्य संवारने के लिए दी जा रही छात्रवृत्ति की राशि का गबन करने को खुलासा हो गया़ सबसे दु:खद पहलू यह कि इस गबन में छात्रों का भविष्य संवारने के लिए जबावदेह सम्मानित कुछ शिक्षक भी शामिल बताये जा रहे हैं. मामले को लेकर कुर्साकांटा थाना में एक कांड दर्ज किया गया़ शिक्षक सहित पंद्रह लोगों को नामजद किया गया है, लेकिन सप्ताह लगने को है़
एक भी नामजद अभियुक्तों की गिरफ्तारी पुलिस अब तक नहीं कर पायी है़ कहने को पुलिस विभाग के पदाधिकारियों के पास एक तकिया कलाम होता है कि छापामारी की जा रही है़ अभियुक्त फरार चल रहा है. गिरफ्तारी जल्द कर ली जायेगी़ लेकिन हालात कुछ इतर होता है़ अतीत के पन्ने को उलटने पर कार्रवाई में उदासीनता सामने आती है़ हाल के बीते कुछ कार्रवाई में उदासीनता सामने आती है़ हाल के बीते कुछ महीनों में अनाज घोटाला को ले रानीगंज, कुर्साकांटा, अररिया आरएस ओपी में ट्रान्सपोर्टर, पैक्स अध्यक्ष, एसएफसी कर्मी के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज की गयी़
यह मामला खबरों की सुर्खिया बनी थी. लेकिन, दिन-सप्ताह नहीं, महीना व साल गुजर गये़ एक भी अभियुक्त को पुलिस अब तक गिरफ्तार नहीं कर पायी है़ इससे पहले भी प्रशासन ने करोड़ों राशि के गबन को लेकर हाईमास्ट लाईट घोटाला को ले प्राथमिकी दर्ज कराया था़ लेकिन इस मामले में मास्टर माइंड विजय वर्मा आज तक गिरफ्तार नहीं हो पाया़ कहने को ले पुलिस पटना, रांची तक गयी़ मगर वह पकड़ में नहीं आया़ इसी तरह डेहटी पैक्स घोटाला का मुख्य अभियुक्तों में एक तत्कालीन बीडीओ रमेश झा की गिरफ्तारी पुलिस नहीं कर पायी है़ हालांकि इसी मामले में आधा दर्जन बीडीओ जेल जा चुके हैं और सेवा से बर्खास्त भी हुए. लेकिन रमेश झा अब तक खुली हवा में सांस ले रहे हैं. कहा तो यहां तक जाता है कि अगर जिला प्रशासन सख्त ना होता तो पुलिस रेफरल अस्पताल जोकीहाट के मामले में नामजद की गिरफ्तारी नहीं करती़ खैर ये तो महज कुछ बानगी है़ हाल के घटनाक्रम छा़त्रवृत्ति घोटाला इन दिनों ज्वलंत मुद्दा बना हुआ है़ ऐसे में लोग अतीत की बातों की चर्चा करते हुए कहने से नही चूकते कि इसका भी हश्र पूर्व के घोटालों जैसा ही होगा़ गिरफ्तारी को ले पुलिस की उदासीनता को ले भी चर्चा होती है कि जमानत लेने तक पुलिस ने शायद छूट दे रखी है़