चेन्नई: उच्चतम न्यायालय के वरिष्ठ अधिवक्ता राम जेठमलानी ने राजीव गांधी हत्या मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे सभी सात दोषियों को उनमें से तीन की मौत की सजा को उच्चतम न्यायालय द्वारा कम करने के मद्देनजर रिहा करने के जयललिता सरकार के फैसले का आज बचाव किया.
तीन दोषियों संतन, मुरुगन और पेरारिवलन की मौत की सजा कम करने की याचिका के लिए पेश होने वाले जेठमलानी ने कहा कि उनकी रिहायी का फैसला करने का राज्य सरकार का फैसला उसके अधिकार सीमा के भीतर है.उन्होंने एमडीएमके द्वारा आयोजित अपने सम्मान समारोह में कहा, ‘‘वह राज्य के राज्यपाल थे जिन्होंने एक दोषी नलिनी को माफ किया था और उसकी मौत की सजा को आजीवन कारावास में बदल दिया.’’