नयी दिल्ली : जवाहरलाल नेहरु पर नरेन्द्र मोदी के हमले के बीच कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने आज कहा कि कुछ ताकतों द्वारा नेहरु की आलोचना स्वयं के राजनीतिक हितों को बढाने के लिए चरित्र हनन के उद्देश्य से झूठ व्यंग और कटाक्ष पर आधारित है.
सोनिया ने कहा, ‘जो उनको बदनाम कर रहे हैं वह संसदीय लोकतंत्र पर आधारित भारत के उनके नजरिये को अस्वीकार कर रहे हैं. जो उन्हें बदनाम कर रहे हैं वे उनके भारत के उस नजरिये को नामंजूर कर रहे हैं जो विविधताओं के साथ एकता को मजबूती देने वाला है. सोनिया ने कहा, ‘‘जो उनका तिरस्कार कर रहे हैं वे व्यापक राजनीतिक और तत्कालीन ऐतिहासिक संदभो’ से बेखबर हैं. वे उनके उस नजरिये को अस्वीकार करते हैं जिसमें राज्य सामाजिक-आर्थिक बदलाव की एक उत्प्रेरक शक्ति होती है.
सोनिया ने यहां जवाहरलाल नेहरु स्मारक व्याख्यानमाला 2013 के अपने स्वागत भाषण में कहा, ‘‘लेकिन हमारे देश में कुछ शक्तियां जो जवाहरलाल नेहरु के खिलाफ प्रयास कर रही हैं, वह वस्तुपरक विद्वत्ता या आलोचनात्मक अनुसंधान पर आधारित नहीं है.प्रमुख इतिहासकार प्रो जुडिथ एम ब्राउन ने 45 वां जवाहरलाल नेहरु स्मारक व्याख्यान दिया जिसका विषय था ‘जेल से तीन मूर्ति तक एक प्रधानमंत्री का बनना.’ सोनिया ने कहा कि नेहरु के खुशगवार दिनों में भी उनके आलोचक थे. यहां तक कि उनके बड़े बौद्धिक और राजनीतिक कद के बावजूद हम यह समझते हैं कि उन्होंने बिना किसी चुनौती के शासन किया. लेकिन ऐसा नहीं था.