मेरठ : उत्तर प्रदेश के मेरठ शहर में अपहृत ट्रांसपोर्टर की हत्या कर शव जानी क्षेत्र के पचंगांव के जंगल में फेंक दिया गया. इस मामले में मृतक और हमलावरों के अलग-अलग संप्रदाय का होने के कारण इलाके में तनाव की स्थिति पैदा हो गई. पुलिस ने सोमवार देर रात शव बरामद कर मामले में मृतक की पत्नी और उसके प्रेमी समेत तीन लोगों को गिरफ्तार कर आज घटना के खुलासे का दावा किया.
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ओंकार सिंह ने आज बताया कि देहली गेट थाना क्षेत्र के खैरनगर निवासी जमाल( 33 )अपनी निजी गाड़ियां किराये पर चलाता था. 30 सितम्बर को उसके भाई फरहत ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराते हुए घंटाघर स्थित एक कंपनी मालिक देवपुरी निवासी अशोक खुराना पर शक जाहिर किया था.
उन्होंने बताया कि पुलिस इस मामले में अशोक खुराना :45: से पूछताछ करती, इससे पहले ही वह अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर कहीं गायब हो गया. छानबीन में अशोक के जमाल की पत्नी शबा :30: से प्रेम संबंध होने का पता चला जो पहले अशोक की दुकान में सेल्सगर्ल का काम करती थी. जब दोनों के संबंधों का जमाल को पता लगा तो उसने शबा की नौकरी छुड़वा दी और अशोक से उसकी बातचीत पर रोक लगा दी थी.
सिंह के अनुसार रविवार देर रात पुलिस ने मुखबिर से मिली सूचना के आधार पर अशोक खुराना को पंजाब से उसके एक रिश्तेदार के घर से गिरफ्तार कर लिया. सख्ती से पूछताछ किए जाने पर उसने जमाल की हत्या करना स्वीकार कर लिया.
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के अनुसार अशोक और शबा के संबंधों में जमाल बाधक बन रहा था, इसलिए घटना के दिन 30 सितम्बर को अशोक खुराना ने जमाल को फर्जी आईडी पर लिए गए सिमकार्ड वाले मोबाइल से फोन कर किसी बहाने घंटाघर पर बुलाया और फिर उसे अपनी कार में बैठा कर पंचगांव ले गया. वहां उसने चचेरे भाई देवेन्द्र उर्फ जग्गू ,नौकर सोनू और दोस्त ब्रजेश के साथ मिलकर जमाल की हत्या कर दी तथा शव को गांव के जंगल में फेंक दिया. पहचान मिटाने के लिए जमाल के चेहरे पर तेजाब डाल दिया गया.
सिंह के अनुसार हत्या शबा के इशारे पर की गई थी. पुलिस ने अशोक खुराना, देवेन्द्र और शबा को गिरफ्तार कर लिया है. दो अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के प्रयास किये जा रहे हैं.