कोलंबो : संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार आयुक्त नवी पिल्लै ने लिट्टे के साथ श्रीलंका के युद्ध के दौरान लापता हुए तमिलों के रिश्तेदारों को आश्वासन दिया कि उनकी पीड़ा को मामला राष्ट्रपति महिंदा राजपक्षे के सामने उठाया जायेगा.
पिल्लै वर्ष 2009 में महासचिव बान की मून के बाद उत्तर की यात्रा करने वाली संयुक्त राष्ट्र की वरिष्ठतम अधिकारी हैं. कल उन्होंने लंका की सेनाओं और तमिल चीतों के बीच हुई अंतिम लड़ाई के स्थान नंथीकंदल का दौरा किया। इस लड़ाई में लिट्टे की हार हुई थी.उन्होंने उन तमिल परिवारों से मुलाकात की जिन्होंने अपने लापता परिजनों, सेना द्वारा जमीन हथियाने और मूल सुविधाओं के अभाव को लेकर उनसे शिकायत की.
पिल्लै ने उन्हें आश्वासन दिया कि वे भूमि, आजीविका और गुमशुदगी जैसे मामलों पर राष्ट्रपति राजपक्षे के साथ बैठक में चर्चा करेंगी। यह बैठक इस सप्ताह के अंत में होनी है. संयुक्त राष्ट्र की इस अधिकारी ने लिट्ट प्रमुख केंद्र रहे मुल्लईथीवू का भी दौरा किया। उन्होंने लोगों को बताया कि किसी भी तत्काल हल की अपेक्षा नहीं की जा सकती. सितंबर में संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद के अगले सत्र से पहले एक सप्ताह की अवधि के मूल्यांकन दौरे के लिए पिल्लै श्रीलंका में हैं.