इंदौर : नाबालिग लड़की के यौन शोषण के मामले में आज जोधपुर पुलिस का नोटिस मिलने के बाद आसाराम ने अपने बेकसूर होने का दावा दोहराते हुए कहा कि उन्हें इस प्रकरण में साजिश के तहत फंसाया गया है. विवादास्पद प्रवचनकर्ता ने पुलिस के सामने बयान दर्ज कराने के लिए पेश होने के लिये मोहलत भी मांगी है.
आसाराम ने अपने खंडवा रोड स्थित आश्रम में संवाददाताओं से कहा, ‘मेरे खिलाफ लगाये गये आरोप गंदे और बेबुनियाद हैं. मुझे (यौन शोषण के मामले में) साजिश के तहत फंसाया गया है.’ बहरहाल, जब 72 वर्षीय प्रवचनकर्ता से पूछा गया कि उनके खिलाफ कथित साजिश किसने रची, तो उन्होंने कहा कि वह फिलहाल साजिशकर्ताओं के नाम जाहिर नहीं कर सकते.
आसाराम ने दावा किया कि नाबालिग लड़की के यौन शोषण की कथित घटना के वक्त वह जोधपुर आश्रम में नहीं, बल्कि एक ‘एकांत कुटिया’ में थे.
इस नोटिस में प्रवचनकर्ता को मामले में अपना बयान दर्ज कराने के लिये 30 अगस्त तक जोधपुर पुलिस के सामने हाजिर रहने को कहा गया है. लेकिन आसाराम ने अपनी व्यस्तताओं का हवाला देते हुए पुलिस से इस सिलसिले में मोहलत मांगी है.
प्रवचनकर्ता ने कहा, ‘मेरे 31 अगस्त तक अलग.अलग कार्यक्रम हैं, जिनके आयोजन के लिये मेरे अनुयायियों ने लाखों रुपये खर्च किये हैं. मैंने जोधपुर पुलिस के दल को यह बात बताते हुए उसके सामने अपना पक्ष रखा है. मैंने इस दल से कहा है कि पुलिस मेरे लाखों अनुयायियों की भावनाओं को देखते हुए मेरा सहयोग करे.’
इस बीच, आसाराम आश्रम की ओर से एक युवती को मीडिया के सामने पेश किया गया. अश्विनी नाम की इस इंदौर निवासी युवती ने दावा किया कि नाबालिग लड़की ने अपने माता-पिता के कहने पर 72 वर्षीय प्रवचनकर्ता पर यौन शोषण के आरोप लगाये थे.