शिमला: भाजपा की प्रदेश इकाई ने बिजली की दरों में अत्यधिक बढ़ोत्तरी के लिए राज्य सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि उसने 18 लाख घरेलू उपभोक्ताओं पर 500 करोड़ रुपये से अधिक का बोझ बढ़ाया है.
पार्टी प्रवक्ता गणोश दत्त ने कहा कि पहली बार बिजली की दरों में 70 पैसे प्रति यूनिट की बढोत्तरी की गई है और यहां तक कि घरेलू उपभोक्ताओं को भी नहीं बख्शा गया है.
उन्होंने राज्य बिजली नियमन आयोग (एसईआरसी) पर जनता से आपत्ति या सुझाव आमंत्रित किये बगैर दरों की एकतरफा तरीके से घोषणा करने का आरोप लगाया.
दत्त ने कहा कि घरेलू उपभोक्ताओं के लिए दरों को 3 . 69 रुपये प्रति यूनिट से बढाकर 4 . 28 रुपये प्रति यूनिट जबकि औद्योगिक उपभोक्ताओं के लिए दरों को 4 . 76 रुपये प्रति यूनिट से बढाकर 5 . 50 रुपये प्रति यूनिट कर दिया जबकि कारोबारी उपभोक्ताओं को 5 . 25 रुपये प्रति यूनिट के स्थान पर 5 . 95 रुपये प्रति यूनिट चुकाने होंगे जो उपभोक्ताओं पर बहुत बड़ा बोझ है.
हालांकि उन्होंने सरकार द्वारा घोषित सब्सिडी के बारे में जिक्र नहीं किया.
दत्त ने दावा किया कि कांग्रेस सरकार अपने चार महीनों के शासन में जनता को राहत देने में नाकाम रही है और बिजली दरों में बढोत्तरी ‘जनता को सरकार का पहला उपहार’ है.