बीजिंग: भारत ने व्यापार, निवेश, राजनीतिक और सुरक्षा मुद्दो पर चीन के साथ ‘‘गहन’’ द्विपक्षीय सहयोग पर जोर दिया और कहा कि द्विपक्षीय कार्यक्रमों को ‘‘तेज करने’’ का वक्त आ गया है.
विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद ने यहां कहा, ‘‘आज, चुनौती यह है कि अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था को सकारात्मक रुप से प्रभावित करने और साथ ही प्रत्यक्ष संपर्क के माध्यम से परस्पर लाभ को अधिकतम बनाने की दोहरी परिघटना का प्रबंधन कैसे किया जाए.’’ भारतीय दूतावास की ओर से आयोजित एक स्वागत को संबोधित करते हुए खुर्शीद ने कहा कि जब दोनों देशों के नेता किसी सामरिक एवं सहयोगात्मक साङोदारी की स्थापना की बात करते हैं तो सारतत्व में उनके दिमाग में यही बात होती है.
विदेशमंत्री ने कहा, ‘‘इसके लिए हमारे जो भी मतभेद रहे हों, उन्हें हल करते हुए दोनों समाजों के बीच संपर्क व्यापक करने,और ज्यादा गहन सहयोग को बढ़ावा देने की जरुरत है.’’ खुर्शीद ने कहा, ‘‘चाहे यह व्यापार और निवेश हो, संस्कृति या पर्यटन हो, या राजनीतिक और सुरक्षा मुद्दे हों, यह खुद को अनेक रुप में अभिव्यक्त करता है. इसे साकार करने के लिए हमारे नेताओं को दृष्टि और प्रतिबद्धता प्रदर्शित करने की जरुरत है, हमारे तंत्रों को ज्यादा संवाद की जरुरत है और हमारे अवाम को ज्यादा मजबूत समझ की जरुरत है.’’