लोग अपने-अपने घरों से नहीं निकल रहे हैं. कई स्कूलों में पहले से ही छुट्टी की घोषणा कर दी गई है. इस बीच, पहाड़ पर अधिक बारिश नहीं होने की वजह से महानंदा, पंचनई तथा महिशमारी आदि नदियों के जल स्तर में कमी आयी है, लेकिन जल जमाव की स्थिति जस की तस बनी हुई है. सिलीगुड़ी नगर निगम के महानंदा तथा पंचनई नदी के निकटवर्ती इलाकों में अभी भी जल जमाव है. वार्ड में 1, 3, 4, 5, 10, 32, 44, 45, 46 आदि इलाकों में अभी भी जल जमाव की स्थिति बनी हुई है. हल्की बारिश जारी रहने की वजह से पानी नहीं सूख पाया है. लोग घुटने भर पानी में अपने घरों में आवाजाही कर रहे हैं. निकासी व्यवस्था बदहाल होने को लेकर आम लोगों में भारी रोष है. दूसरी तरफ सिलीगुड़ी नगर निगम के मेयर अशोक भट्टाचार्य ने भी जल निकासी को लेकर अपने हाथ खड़े कर लिये हैं.
उन्होंने साफ-साफ कहा कि प्रकृति के आगे किसी की नहीं चलती है. बारिश तथा नदियों का जल स्तर बढ़ने की वजह से जल निकासी व्यवस्था के पूरी तरह से काम करना संभव नहीं है. इस बीच, मौसम विभाग द्वारा मिली जानकारी के अनुसार सिलीगुड़ी के साथ ही दार्जिलिंग, मालबाजार मयनागुड़ी, अलीपुरद्वार, हासीमारा, कूचबिहार, माथाभांगा, तूफानगंज आदि इलाकों में पिछले 24 घंटों में कहीं तेज तो कहीं हल्की बारिश जारी है. सबसे अधिक बारिश माल बाजार में हुई है. वहां 24 घंटे के दौरान 159 मिलीमीटर बारिश हुई है. दूसरे स्थान पर सिलीगुड़ी है. सिलीगुड़ी में 24 घंटे के दौरान 97 मिलीमीटर बारिश हुई है. माल बाजार सहित डुवार्स के विभिन्न इलाकों तथा पड़ोसी देश भूटान में बारिश की वजह से डुवार्स की सभी नदियां उफान पर है.
अलीपुरद्वार जिले में तोर्षा नदी का जल स्तर खतरे के निशान से ऊपर है. तोर्षा नदी के आसपास के इलाकों में रेड अलर्ट जारी कर दिया गया है. तोर्षा नदी के नीचले इलाके में बसे गांव एवं बस्तियों के लोग घर-बार छोड़ कर सुरक्षित स्थानों की ओर चले गये हैं. जलपाईगुड़ी जिले में तीस्ता, जलढाका तथा रायडाक आदि नदियों के जल स्तर में भी काफी वृद्धि हुई है. इन इलाकों में पीला संकेत जारी कर दिया गया है.