कोलकाता: केंद्र सरकार के नोटबंदी के फैसले के खिलाफ दायर एक जनहित याचिका को भले ही सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है, पर इसके बावजूद 500 व 1000 रुपये के पुराने नोट पर लगी पाबंदी के खिलाफ कलकत्ता हाइकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर करने की तैयारी चल रही है. यह जनहित याचिका दायर […]
कोलकाता: केंद्र सरकार के नोटबंदी के फैसले के खिलाफ दायर एक जनहित याचिका को भले ही सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है, पर इसके बावजूद 500 व 1000 रुपये के पुराने नोट पर लगी पाबंदी के खिलाफ कलकत्ता हाइकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर करने की तैयारी चल रही है. यह जनहित याचिका दायर करने के लिए सात लोग बुधवार को कलकत्ता हाइकोर्ट पहुंचे थे, लेकिन अंतिम समय में कंप्यूटर में तकनीकी गड़बड़ी के कारण याचिका दायर नहीं हो पायी. याचिकाकर्ताआें में से एक इमरान खान ने बताया कि हमें पूरी उम्मीद है कि गुरुवार को याचिका दायर हो जायेगी आैर शुक्रवार को इस मामले पर सुनवाई होगी.
श्री खान ने बताया कि केंद्र की मोदी सरकार ने नोटबंदी का एलान तो कर दिया, लेकिन उन लोगों का बिल्कुल ख्याल नहीं किया, जो विकलांग हैं या फिर अस्पतालों में भरती हैं या किसी काम या शिक्षा ग्रहण करने के लिए विदेेश गये हुए हैं. आखिर वे आम लोग अपना पैसा कब व कैसे बैंकों में जमा कर पायेंगे. श्री खान ने आरोप लगाया कि केंद्र ने जल्दबाजी में नोटबंदी का एलान कर देश के करोड़ों लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ करने का काम किया है.
इससे अब तक 35 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है, अगर जल्द ही स्थिति नहीं बदली, तो आैर भी मौतें होने की आशंका है. श्री खान ने बताया कि अपने जीवन भर की कमाई पर लगी पाबंदी से अगर लोगों की जान जाती है, तो इसकी जिम्मेदारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वित्त मंत्री अरुण जेटली व आरबीआइ गवर्नर उर्जित पटेल की होगी. उन्होंने कहा कि जो बड़े-बड़े उद्योगपति व व्यवसायी बैंकों का लाखों-करोड़ रुपये दबाये बैठे हैं या विजय माल्या व ललित मोदी जैसे लोग बैंकों का पैसा लेकर फरार हो गये, उनके खिलाफ सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की, बल्कि एक बार फिर आम लोगों का पैसा बड़े उद्योगपतियों को ऋण के रूप में देकर उन्हें भागने का अवसर प्रदान किया जायेगा. उन्होंने कहा कि काफी लोगों के बैंक अकाउंट नहीं है.
उनका क्या होगा. बैंकों व डाक घरों से रुपये बदलने के लिए जो फार्म जारी किया गया है, वह केवल अंगरेजी भाषा में है. हमारे देश के अधिकतर लोग अंगरेजी नहीं जानते हैं. उनके साथ यह एक आैर मजाक किया गया है. श्री खान ने कहा कि अगर सरकार ने लोगों को हो रही दिक्कतों का समाधान नहीं किया, तो हम लोग अनिश्चितकालिन धरना देंगे.