कोलकाता: विरोधी पार्टियों द्वारा आहुत बंद को विफल करने के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी हर संभव कदम उठाने का तैयार हैं. मंगलवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य सचिवालय नबान्न भवन में विभिन्न बाजार समितियों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की. बैठक में मुख्यमंत्री ने सभी बाजार समितियों को बंद के दिन बाजार की दुकानें खुला रखने की अपील की. साथ ही उन्होंने दुकानदारों को आश्वासन देते हुए कहा कि अगर बंद के दिन दुकान खुला रखने के बाद उनकी दुकानों को कोई नुकसान पहुंचता है और राज्य सरकार द्वारा उसका मुआवजा दिया जायेगा.
मुख्यमंत्री के साथ बैठक करने के बाद बाजार समिति के प्रतिनिधि रवींद्रनाथ कोले ने बताया कि मुख्यमंत्री ने बंद के दिन दुकानें खुली रखने की अपील की है और साथ ही उनको हर प्रकार की पुलिस सुरक्षा प्रदान करने का आश्वासन दिया है. इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने किसी प्रकार का नुकसान होने पर मुआवजा देने की भी घोषणा की है.
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी इस संबंध में स्वयं एक बीमा सुरक्षा योजना शुरू करना चाहती है ताकि लोगों को इस प्रकार के बंद के दौरान होनेवाले नुकसान से बचाया जा सके. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने बंद के दौरान कहा कि वह बंगाल से बंद की संस्कृति को ही समाप्त करना चाहती हैं, इसलिए उन्होंने राज्य की जनता से इस बंद को विफल करने की मांग की है. वहीं, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बाजारों में जरूरी चीजें खास कर सब्जियों की बढ़ती कीमत पर भी चिंता व्यक्त की. मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले दिनों यहां हुई भारी बारिश व उसके बाद आयी बाढ़ से 12 जिले प्रभावित हुए हैं और वहां की सारी फसल नष्ट हो गयी है.
इसकी वजह से सब्जी की कीमत बढ़ी है. फिर भी उन्होंने बाजार समितियों को कालाबाजारी पर अंकुश लगाने को कहा है. प्याज की कीमत के संबंध में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि राज्य सरकार ने फेयर प्राइस शॉप व मोबाइल वैन के माध्यम से 45 रुपये प्रति किलो की दर से प्याज बेचने का फैसला किया है. कई स्थानों पर प्याज बेचने का काम शुरू भी किया जा चुका है. राज्य सरकार ने कोलकाता के साथ ही सभी कमिश्नरेट क्षेत्र में फेयर प्राइस शॉप खोलने की योजना बनायी है. राज्य सरकार यहां बैरकपुर, हावड़ा, सिलीगुड़ी, विधाननगर व आसनसोल में यह फेयर प्राइस शॉप खाेलने जा रही है.
हड़ताल का मुकाबला करने के लिए निगम प्रशासन तत्पर
कोलकाता. राज्य सरकार के तर्ज पर कोलकाता नगर निगम ने भी 11 श्रमिक संगठनों एवं वामपंथी दलों के बुलायी गयी हड़ताल को नाकाम करने के लिए तत्पर नजर आ रहा है. निगम के तृणमूल बोर्ड ने पहले ही एक सर्कुलर जारी कर सभी निगमकर्मियों को हड़ताल के दौरान काम पर आने की हिदायत दी है. काम पर नहीं आनेवालों का वेतन काटने की धमकी भी दी गयी है. धमकी व चेतावनी के साथ-साथ निगम प्रशासन ने हड़ताल के दौरान काम पर आनेवालों की सुविधा को ध्यान रखते हुए रात में उनके रुकने का इंतजाम भी किया है. निगम मुख्यालय एवं निगम के अन्य दफ्तरों में कर्मियों के रात में रुकने की व्यवस्था की गयी है. उनके खाने-पीने का भी इंतजाम किया गया है.
हड़ताल को असफल करने के लिए तृणमूल तत्पर
कोलकाता. ट्रेड यूनियनों द्वारा आहूत बुधवार की हड़ताल को असफल करने के लिए तृणमूल कांग्रेस तत्पर हैं. राज्य के मंत्री सुब्रत मुखर्जी ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि हड़ताल के दिन जनजीवन सामान्य रखने केलिए हर किस्म के कदम उठाये जायेंगे. हालांकि उनका यह भी कहना है कि हड़ताल को असफल करने के लिए वाम नेताओं के आमने-सामने होने की हिदायत वह तृणमूल कार्यकर्ताओं या समर्थकों को नहीं देगे. उल्लेखनीय है कि 18 श्रमिक संगठनों द्वारा आहूत हड़ताल को सफल करने के लिए वाम दलों ने भी कमर कस ली है. राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक राज्य में अपनी खोयी जमीन को वापस हासिल करने के लिए वामदलों के लिए यह हड़ताल बेहद महत्वपूर्ण है. ऐसी स्थिति में तृणमूल कांग्रेस किसी भी स्थिति में ऐसा होने नहीं देना चाहती. इधर तृणमूल का कहना है कि माकपा इस पूरी स्थिति में तनाव व हिंसा चाहती है ताकि वह प्रचार के घेरे में आ जाये, लेकिन पार्टी ने फैसला किया है कि सड़क पर उतरकर हड़ताल को असफल करने की कोशिश नहीं होगी. जनता ही हड़ताल को धता बता देगी.