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रिम्स में जनवरी से होगी हार्ट की सर्जरी
रांची: सूत्रों की मानें तो दुर्गा पूजा के बाद विंग की आधारभूत संरचना को देखने के लिए एम्स सीटीवीएस के प्रोफेसर डॉ एसएस चौधरी रांची आयेंगे. वहीं कार्डियोलॉजी व सीटीवीएस विभाग दाेनों विभाग का ओपीडी ग्राउंड फ्लोर पर रहेगा, जिससे गंभीर मरीजों को परामर्श मिल सके. उपकरण की एजेंसी के चयन का जिम्मा एम्स को […]
रांची: सूत्रों की मानें तो दुर्गा पूजा के बाद विंग की आधारभूत संरचना को देखने के लिए एम्स सीटीवीएस के प्रोफेसर डॉ एसएस चौधरी रांची आयेंगे. वहीं कार्डियोलॉजी व सीटीवीएस विभाग दाेनों विभाग का ओपीडी ग्राउंड फ्लोर पर रहेगा, जिससे गंभीर मरीजों को परामर्श मिल सके.
उपकरण की एजेंसी के चयन का जिम्मा एम्स को : रिम्स प्रबंधन सीटीवीएस के उपरण की सप्लाई करने वाली एजेंसी के चयन का जिम्मा एम्स को दिया है. सीटीवीएस में जिस एजेंसी ने रुचि दिखायी है, उसका शॉट लिस्ट कर रिम्स प्रबंधन एम्स के सीटीवीएस विभाग को भेज दिया है. एम्स इन एजेंसियों में से बेहतर एजेंसी को चयन कर रिम्स को भेजेगा.
ये सेवाएं जो शुरू नहीं कर सका रिम्स : रिम्स शासी परिषद की बैठक में हृदय रोगियों के बेहतर सुविधा के लिए कार्डियाेलाॅजी विंग में कई महत्वपूर्ण फैसले लिये गये. लेकिन अब तक यह लागू नहीं हो पाया है. एंजियोग्राफी जांच को तीन हजार में किया जाना था, लेकिन निर्णय लेने के दाे माह बाद इसका लाभ लोगों को नहीं मिल पा रहा है. वहीं अधिकतम 65 हजार में स्टेट मुहैया कराने का फैसला एक साल पहले लिया गया था, लेकिन अब तक यह नहीं हुआ.
यहां आ रही अड़चन : तीन हजार रुपये में एंजियोग्राफी की सुविधा विभाग द्वारा लगाये गये अड़चन से नहीं शुरू हो पायी है. जांच में उपयोग होने वाली शीट पर सवाल उठा दिया गया है. अब विभाग के सलाह पर शीट मंगायी जा रही है. वहीं, स्टेंट के लिए रिम्स प्रबंधन ने एक कंपनी से बात की, लेकिन प्रबंधन को सूचना मिली कि स्टेंट आ जाने के बाद साइज व क्वालिटी पर डॉक्टर कमी निकालने लगेंगे.
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