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2019 तक हर घर में 24 घंटे मिलेगी बिजली
एनटीपीसी और झारखंड सरकार की ज्वाइंट वेंचर कंपनी के लिए हुआ समझौता, मुख्यमंत्री ने कहा 85 फीसदी बिजली झारखंड को मिलेगी पीटीपीएस से उत्पादन बढ़ने पर सारी बिजली झारखंड को ही मिलेगी पूरे देश में झारखंड ही लायेगा बिजली क्रांति रांची : मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि जिस प्रकार देश में हरित क्रांति और […]
एनटीपीसी और झारखंड सरकार की ज्वाइंट वेंचर कंपनी के लिए हुआ समझौता, मुख्यमंत्री ने कहा
85 फीसदी बिजली झारखंड को मिलेगी
पीटीपीएस से उत्पादन बढ़ने पर सारी बिजली झारखंड को ही मिलेगी
पूरे देश में झारखंड ही लायेगा बिजली क्रांति
रांची : मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि जिस प्रकार देश में हरित क्रांति और श्वेत क्रांति हुई है. उसी तरह बिजली के क्षेत्र में झारखंड पावर क्रांति लायेगा. झारखंड बिजली की शक्ति क्रांति लायेगा. कुछ वर्षो में ही झारखंड देश का पावर हब बन जायेगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि विकास के लिए बिजली ही ऑक्सीजन है.
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का सोच है कि झारखंड की बिजली से पूरे देश में उजाला फैल सकता है. 2019 तक राज्य के हर घर में 24 घंटे सातों दिन बिजली उपलब्ध कराना है. इसके लिए ऊर्जा उत्पादन के रूप में झारखंड शक्ति-क्रांति को स्वरूप प्रदान करेगा. यह बातें मुख्यमंत्री ने बुधवार को कही. मौका था एनटीपीसी और झारखंड सरकार की ज्वाइंट वेंचर कंपनी के लिए हो रहे समझौते का.
बुधवार को प्रोजेक्ट भवन सभागार में मुख्यमंत्री रघुवर दास और एनटीपीसी के सीएमडी अरूप रॉय चौधरी की उपस्थिति में ऊर्जा सचिव एसकेजी रहाटे और एनटीपीसी के निदेशक आइजे कपूर ने समझौता पत्र पर हस्ताक्षर किये.
ऊर्जा सचिव एसकेजी रहाटे ने बताया कि ज्वाइंट वेंचर कंपनी पतरातू में चार हजार मेगावाट का पावर प्लांट लगायेगी. वहीं पीटीपीएस की क्षमता बढ़ायी जायेगी. ज्वाइंट वेंचर कंपनी में एनटीपीसी की हिस्सेदारी 74 फीसदी व झारखंड सरकार की 26 फीसदी होगी. झारखंड सरकार की इक्विटी कैशलेस होगी. नये पावर प्लांट से झारखंड को 85 फीसदी बिजली मिलेगी और पीटीपीएस से शतप्रतिशत बिजली मिलेगी.
एनटीपीसी द्वारा पहले चरण में 800 मेगावाट की तीन यूनिट व दूसरे चरण में 800 मेगावाट की दो यूनिट लगायी जायेगी. पहली यूनिट 2019 तक आ जायेगी. दूसरे चरण की 1600 मेगावाट की यूनिट 2024-25 में आयेगी. इसके एवज में पतरातू में 1859 एकड़ जमीन एनटीपीसी व झारखंड सरकार की ज्वाइंट वेंचर कंपनी को दी जायेगी. साथ ही पानी व कोल ब्लॉक भी ज्वाइंट वेंचर कंपनी को दी जायेगी. पीटीपीएस व एनटीपीसी के बीच तीन मई को समझौता पर हस्ताक्षर किये गये थे. इसके 90 दिनों में कंपनी बनानी थी. बुधवार को नयी कंपनी के लिए ही समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये गये.
2009 का सपना पूरा हुआ : मुख्यमंत्री ने कहा कि आज वर्ष 2009 के उनके सपने की दूसरी कड़ी पूरी हो रही है. उन्होंने निर्धारित समयावधि के दौरान समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर होने व ज्वाइंट वेंचर कंपनी के गठन पर ऊर्जा विभाग एवं एनटीपीसी की टीम को धन्यवाद देते हुए कहा कि समय सीमा में काम पूरा कर पदाधिकारियों ने जवाबदेह प्रशासन का उदाहरण प्रस्तुत किया है. उन्होंने कहा कि राज्य की सवा तीन करोड़ जनता के सहयोग और पदाधिकारियों की टीमवर्क से अगले पांच वर्ष में झारखंड निश्चित रूप से समृद्घ प्रदेशों की श्रेणी में होगा.
प्रदेश के प्राकृतिक संसाधनों एवं प्रदेश के लोगों की मेहनत से झारखंड में देश के ही नहीं, बल्कि दुनिया के समृद्घ राज्य बनने की क्षमता है. झारखंड को पावर हब बनाना ही पूर्व राष्ट्रपति डॉ एपीजे अब्दुल कलाम के प्रति सच्ची श्रद्घांजलि होगी. मुख्य सचिव राजीव गौबा ने कहा कि राज्य की ऊर्जा क्षमता को वास्तविकता में बदलना है. इसके लिए तिलैया व देवघर में मेगा पावर प्लांट के कार्य को गति दी जा रही है.
कार्यक्रम में धन्यवाद ज्ञापन बिजली वितरण कंपनी के एमडी राहुल पुरवार ने किया. मौके पर मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव संजय कुमार, सचिव सुनील कुमार वर्णवाल, संचरण कंपनी के एमडी सुनील कुमार, मेकन के सीएमडी एके त्यागी, एचइसी के सीएमडी अभिजीत घोष समेत एनटीपीसी व बिजली कंपनियों के अधिकारी उपस्थित थे.
एक नया पतरातू बनेगा : अरूप रॉय चौधरी
एनटीपीसी के सीएमडी अरूप राय चौधरी ने समयबद्घ कार्य के लिए मुख्यमंत्री के प्रति आभार प्रकट करते हुए कहा कि इस एग्रीमेंट से नये पतरातू के निर्माण को आधार प्राप्त हुआ है.
उन्होंने कहा कि जेवी कंपनी शीघ्र ही काम को आगे बढ़ायेगी. कंपनी के रजिस्ट्रेशन से लेकर लोन आदि लेने की प्रक्रिया शीघ्र शुरू हो जायेगी. प्लांट के लिए राशि की कमी नहीं होने दी जायेगी. सीएमडी ने रांची से जुड़ी अपनी यादों को भी साझा किया. कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि यह समझौता झारखंड के लिए काफी फायदेमंद होगा.
झारखंड बिजली के मामले में आगे होगा. केंद्र सरकार की मंजूरी मिलेगी, तो प्लांट से उत्पादित 85 फीसदी बिजली झारखंड को ही मिलेगी. नॉर्थ कर्णपुरा प्रोजेक्ट की पहली यूनिट भी 2017 के आसपास आ जायेगी. बनहरदी कोल ब्लॉक के बाबत पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि कोल ब्लॉक किसी का नहीं होता है. केंद्र सरकार इसे आवंटित करती है. ज्वाइंट वेंचर कंपनी को बनहरदी केंद्र की अनुमति मिलने पर ही हस्तांतरित हो सकती है. श्री चौधरी ने कहा कि टीम अभी सबसे पहले पीटीपीएस से उत्पादन बढ़ाने का काम करेगी. इसकी तैयारी शुरू हो गयी है. तीन से चार माह में असर दिखने लगेगा.
लॉ एंड ऑर्डर ठीक रखना होगा
एनटीपीसी के एक अधिकारी द्वारा हजारीबाग में मारपीट के बाबत सीएमडी ने कहा कि उन्हें जानकारी है.झारखंड सरकार ने अपनी रिपोर्ट दे दी है. जो भी करना है राज्य सरकार को ही करना है. जहां तक सुरक्षा की बात है, तो यह लॉ एंड ऑर्डर ठीक रखना राज्य सरकार का काम है. यदि लॉ एंड ऑर्डर ठीक नहीं होगा, तो कोई भी कंपनी कैसे काम कर सकती है. पहले जो घटना हुई थी, इस पर सरकार से उन्होंने बात की थी.
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