बगैर लाइसेंस व हेलमेट के वाहन चलाने पर लगेगी रोक
स्कूल के समय में शहर में भारी वाहनों के परिचालन पर रोक लगायी जाये
नगर आयुक्त व ट्रैफिक एसपी उपस्थित हुए, अगली सुनवाई 20 मई को होगी
रांची : झारखंड हाइकोर्ट में सोमवार को रांची शहर में वाहन प्रदूषण, यातायात समस्या व फुटपाथ दुकानदारों को लेकर दायर विभिन्न जनहित याचिकाओं पर सुनवाई हुई. चीफ जस्टिस वीरेंदर सिंह व जस्टिस पीपी भट्ट की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को ट्रैफिक व्यवस्था दुरुस्त करने का निर्देश दिया.
स्कूली बच्चों द्वारा बगैर ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) व हेलमेट के दोपहिया वाहन (स्कूटी, मोटरसाइकिल आदि) चलाने पर सख्ती से रोक लगाने का निर्देश दिया. यदि कोई विद्यार्थी नियम का उल्लंघन करता है, तो उसका चालान काटा जाये. अगले दिन उसके अभिभावक को बुला कर समझाया जाये. कोई बच्च एक दिन स्कूल में अनुपस्थित हो जाये, तो कोई बात नहीं, लेकिन दुर्घटना को बरदाश्त नहीं किया जा सकता. बच्चों की जिंदगी महत्वपूर्ण है. नुकसान होने से पहले ही कदम उठाये जायें. चीफ जस्टिस वीरेंदर सिंह ने कहा कि उन्होंने स्वयं देखा है कि किस प्रकार एक 15 वर्षीय बच्ची बगैर हेलमेट लगाये तेज गति से स्कूटी चला कर भाई को स्कूल छोड़ने जाती है. ऐसे विद्यार्थियों के खिलाफ ट्रैफिक पुलिस कानूनी कार्रवाई करे. एक भी बच्चे का एक्सीडेंट हुआ, तो ट्रैफिक पुलिस की खैर नहीं.
खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान उपस्थित ट्रैफिक एसपी से पूछा कि स्कूल के समय में सुबह में ट्रैफिक पर नियंत्रण क्यों नहीं किया जाता. स्कूल समय सुबह 6.30 बजे से 8.30 बजे तक शहर में किसी भी प्रकार के भारी वाहनों के परिचालन पर रोक लगायी जाये. भारी वाहनों का परिचालन रात नौ बजे के बाद तथा सुबह 6.30 बजे के पूर्व ही होगा. पुलिस डय़ूटी पर मुस्तैद रहें. निर्माण सामग्री जैसे ईंट, बालू, पत्थर आदि शहर में लाना हो, तो भी रात नौ बजे से लेकर सुबह 6.30 बजे तक ही लाया जाये.
सर्वे का काम 20 मई तक पूरा करें
खंडपीठ ने यह भी कहा कि फुटपाथ दुकानदारों की वास्तविक स्थिति की जानकारी दें. दुकानदारों की पहचान करने से संबंधित सर्वे का काम 20 मई तक पूरा करें. सुनवाई के दौरान रांची नगर निगम के नगर आयुक्त प्रशांत कुमार व ट्रैफिक एसपी कोर्ट में उपस्थित हुए. इससे पूर्व सरकार की ओर से शपथ पत्र दायर कर बताया गया कि फुटपाथ दुकानदारों की पहचान के लिए ई-टेंडर निकाला गया है. तीन माह में पहचान का काम पूरा कर लिया जायेगा. मामले की अगली सुनवाई के लिए 20 मई की तिथि निर्धारित की. गौरतलब है कि प्रार्थी रजनीश मिश्र व अन्य की ओर से जनहित याचिका दायर की गयी है.
डिवाइडर जहां-तहां कटे होने पर नाराजगी
खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान सड़कों के डिवाइडर में जहां-तहां कटे होने (ब्रेक होने) पर अधिकारियों को फटकार लगायी. कहा कि यहां के डिवाइडर दुर्घटना को आमंत्रित करते हैं. खंडपीठ ने एक सप्ताह का समय देते हुए कहा कि शहर के सभी डिवाइडरों को दुरुस्त किया जाये. इसे स्लाइडिंग बैरियर से तत्काल बंद करें. इस तरह के मामले में अब तक कितने लोग दुर्घटनाग्रस्त हुए है, उसकी जानकारी दी जाये. इस पर अपर महाधिवक्ता अजित कुमार ने बताया कि एक वर्ष में लगभग 297 लोग दुर्घटना में घायल हुए हैं.