मालूम हो कि विवि में पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार चार सितंबर को कई जिलों के अभ्यर्थी केवीके में नियुक्ति के लिए साक्षात्कार देने विवि मुख्यालय पहुंचे थे. इनमें झारखंड, छतीसगढ़, बिहार सहित अन्य राज्यों के उम्मीदवार भी थे. इनलोगों को वैज्ञानिक एग्रोनोमी व एग्रो फॉरेस्ट्री पद के लिए बीएयू प्रबंधन ने सुबह 10 बजे बुलाया था.
समय पर पहुंचे अभ्यर्थियों के साथ कृषि कॉलेज के कुछ छात्रों ने बदतमीजी करते हुए सर्टिफिकेट जला देने व जान से मार देने की धमकी दी. कहा कि वे लोग साक्षात्कार में शामिल नहीं हों. इससे कई अभ्यर्थी डर गये. मामला जब काफी बढ़ गया, तो छत्तीसगढ़ से आये चंद्रशेखर खरे, दरभंगा के मनीष कुमार और धीरज कुमार सिन्हा ने कुलपति व निदेशक प्रशासन से लिखित शिकायत की और 100 नंबर पर डायल कर पुलिस को इसकी जानकारी दी. इसके बाद कांके थाना प्रभारी राजीव रंजन सदल बल विवि मुख्यालय पहुंचे और पीड़ितों से बात की. कुलपति ने भी आंदोलन कर रहे विद्यार्थियों को काफी समझाने का प्रयास किया. इसके बाद शाम साढ़े पांच बजे से पुलिस की मौजूदगी में विवि प्रशासन ने साक्षात्कार लेना शुरू किया.