नयानगर में आयोजित संयुक्त मोरचा के कन्वेंशन में एटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष रमेंद्र कुमार ने सभी कोल कर्मियों से एकजुटता से सरकार के रवैये का विरोध करने का आह्वान किया़ उन्होंने कोल इंडिया के शेयरों का विनिवेश, पीएफ पर फिर से टैक्स लगाने की आलोचना करते हुए इसे वापस लेने की मांग की़
बरकाकाना : केंद्र सरकार उद्योगपतियों के इशारे पर कोयला खान अधिनियम 2015 लागू कर निजीकरण का रास्ता खोल रही है. कोल इंडिया का निजीकरण करने के लिए अब तक 20 प्रतशित शेयरों का विनिवेश हो चुका है. अब फिर से 10 प्रतिशत विनिवेश का ऐलान किया गया है. बजट के दौरान मजदूरों के टैक्स कट चुके खून-पसीने की जमा पूंजी पीएफ पर फिर से टैक्स लगा कर लूटने की तैयारी की जा रही है. विस्थापितों को उनका अधिकार नहीं मिल पा रहा है.
कोल कर्मियों पर तानाशाही रवैया अपनाया जा रहा है. जिसका सभी कोल कर्मियों को एकजुटता के साथ विरोध करना है. मजदूरों की एकता के साथ की गयी हड़ताल ही उनकी शक्ति है. उक्त बातें शुक्रवार को सामुदायिक भवन नयानगर में संयुक्त मोरचा के तत्वावधान में आयोजित कन्वेंशन के दौरान एटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष रमेंद्र कुमार ने कही. कन्वेंशन की अध्यक्षता योगेंद्र सिंह व संचालन आरपी सिंह ने किया़
श्री कुमार ने केंद्र सरकार व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आड़े हाथ लेते हुये कहा कि मजदूरों के आंदोलन के कारण ही अंग्रेजों को भारत छोड़ना पड़ा था. और अब फिर से मजदूरों के आंदोलन से ही तानाशाही रवैये से देश को छुटकारा मिल पायेगा़ उन्होंने जेएनयू प्रकरण में कन्हैया को बेकसूर बताते हुये फर्जी वीडियो के आधार पर उसे फंसाने व देशद्रोह का मामला दर्ज करने के मामले को केंद्र सरकार की सोची-समझी साजिश करार दिया. अन्य वक्ताओं द्वारा केंद्र सरकार को आरएसएस की कठपुतली कहा गया़ अशोक यादव ने प्रधानमंत्री पर निशाना साधते हुये कहा कि देश की जनता को जंजीरों में जकड़ने की तैयारी चल रही है.
आरएसएस तालीबानी रवैया अपना रहा है. लखनलाल महतो ने सीसीएल को कोल इंडिया का प्रतिनिधित्व करने वाली कंपनी बताते हुए हड़ताल को पूर्ण रूप से सफल बनाने का आह्वान किया.