25.3 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

झारखंड : ओडीएफ घोषित कोडरमा जिले का सच, डीडीसी ने बताया साधन संपन्न, सीओ ने परिजनों को दो हजार रुपये, कंबल व 50 किलो चावल की मदद दी

कोडरमा बाजार : कोडरमा जिले के मरकच्चो प्रखंड स्थित भगवतीडीह गांव में मधु कुमारी की मौत के बाद सोमवार को पूरा प्रशासनिक अमला उमड़ पड़ा. घटना को लेकर मुख्यमंत्री रघुवर दास ने संवेदना व्यक्त की है. मुख्यमंत्री के निर्देश पर डीडीसी आदित्य कुमार आनंद ने मधु के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से तत्काल एक […]

कोडरमा बाजार : कोडरमा जिले के मरकच्चो प्रखंड स्थित भगवतीडीह गांव में मधु कुमारी की मौत के बाद सोमवार को पूरा प्रशासनिक अमला उमड़ पड़ा. घटना को लेकर मुख्यमंत्री रघुवर दास ने संवेदना व्यक्त की है.
मुख्यमंत्री के निर्देश पर डीडीसी आदित्य कुमार आनंद ने मधु के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से तत्काल एक लाख रुपये देने की घोषणा की. डीडीसी ने बताया कि जांच में यह बात सामने आयी है कि मधु के परिजन का पक्का मकान है, पर शौचालय नहीं है. उसके परिजन साधन संपन्न हैं. स्वच्छ भारत मिशन के तहत आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को ही शौचालय निर्माण के लिए 12 हजार रुपये दिये जाते हैं.
पर मधु की मां चमेली देवी ने बताया है कि उसके परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है. उसके पति उमेश सिंह सूरत में मजदूरी करते हैं. परिवार वर्षों पूर्व बने मकान में हिस्सा के रूप में मिले एक कमरे में रहता है. घटना के बाद सीओ हुलास महतो सोमवार को मधु के घर पहुंचे. मुखिया दिवाकर तिवारी को मनरेगा के तहत शौचालय बनाने का निर्देश दिया. परिजनों की स्थिति को देखते हुए मधु की मां चमेली देवी को कंबल व दो हजार रुपये की आर्थिक मदद की. 50 किलो चावल उपलब्ध कराया. बीडीओ ज्ञानमनी एक्का भी मधु के घर पहुंचे.
मुख्यमंत्री ने घटना पर जताया शोक, सीएम राहत कोष से एक लाख की मदद
सूरत से नहीं पहुंचे पिता, शव को दफनाया गया
सीओ ने मनरेगा के तहत शौचालय बनाने का मुखिया को दिया निर्देश
दिमागी हालत ठीक नहीं
चमेली देवी ने बताया कि उसकी बेटी मधु की दिमागी हालत कुछ ठीक नहीं थी. डीडीसी ने कहा कि मधु किस प्रकार के मानसिक रोग से पीड़ित थी यह पता नहीं चल पाया है.
डीडीसी आदित्य कुमार बोले : परिजन का पक्का मकान, साधन संपन्न
डीडीसी आदित्य कुमार आनंद का कहना है कि मधु के परिजन का पक्का मकान है, पर शौचालय नहीं है. दादा बोकारो स्टील सिटी से सेवानिवृत्त हुए थे. उसके पिता सूरत में इलेक्ट्रिशियन हैं.
एक चाचा सीआइएसएफ में थे. अभी बोकारो में अधिवक्ता हैं. मधु के परिजनों ने साधन संपन्न होने के बावजूद शौचालय नहीं बनाया था. आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों या जिनका बेस लाइन सर्वे में नाम दर्ज हो उन्हें ही शौचालय निर्माण के लिए 12 हजार दिये जाते हैं. मृतका के परिवार से जुड़े अन्य योग्य छह परिजनों को योजना के तहत शौचालय का लाभ दिया गया था.
मधु की मां चमेली देवी ने बताया : आर्थिक स्थिति खराब, एक कमरे में रहता है परिवार
मधु की मां चमेली देवी का कहना है कि उसके परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है. पति उमेश सिंह सूरत में मजदूरी करते हैं. घर किसी तरह चलता है. ससुर बीएसएल में नौकरी तो जरूर करते थे, पर उनकी मौत हो चुकी है. सास चिंता देवी की भी मौत हो चुकी है.
उमेश का मंझला भाई रमेश बोकारो में वकालत करता है. छोटा भाई विजय भी बाहर मजदूरी करता है. सबका परिवार अलग रहता है. उनका परिवार वर्षों पूर्व बने मकान में हिस्सा के रूप में मिले एक कमरे में रहता है. परिवार ने शौचालय बनवाने के लिए मुखिया से पूर्व में अनुरोध किया था. पर मुखिया ने कहा था कि आपके परिवार में नौकरीवाले लोग हैं और पक्का मकान है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें