जामताड़ा : स्वास्थ्य विभाग के लाख प्रयास के बावजूद जिलेवासी परिवार नियोजन कार्यक्रम में रुचि नहीं दिखा रहे हैं. इस कारण चालू वित्तीय वर्ष में जिला को मिले परिवार नियोजन का लक्ष्य से कोसों दूर है. अभी तीन माह ही शेष बचे हैं, ऐसे में लक्ष्य को पूरा करना नामुमकिन है. गौरतलब है कि बंध्याकरण […]
जामताड़ा : स्वास्थ्य विभाग के लाख प्रयास के बावजूद जिलेवासी परिवार नियोजन कार्यक्रम में रुचि नहीं दिखा रहे हैं. इस कारण चालू वित्तीय वर्ष में जिला को मिले परिवार नियोजन का लक्ष्य से कोसों दूर है. अभी तीन माह ही शेष बचे हैं, ऐसे में लक्ष्य को पूरा करना नामुमकिन है. गौरतलब है कि बंध्याकरण व नसबंदी को बढ़ावा देेने के लिए सरकार ने प्रोत्साहन राशि का भी प्रावधान किया गया है. साथ गांव-गांव में सहिया का नियुक्त किया है. बावजूद लक्ष्य पूरा नहीं हो रहा है.
इसके अलावा विभाग की ओर से समय-समय पर जागरुकमा कार्यक्र भी चलाया जाता है. स्थानीय स्तर पर आंगनबाड़ी सेविका, सहिया, एएनएम सहित चिकित्सक भी लगे हुए है. बावजूद लोगों में रुचि कम है. वितीय वर्ष 2017-18 में जिला को महिला बंध्याकरण का लक्ष्य 3500 है. नसबंदी का लक्ष्य 500 है. अगस्त माह तक मात्र 142 बंध्याकरण व 21 नसबंदी हुआ है.
बंध्याकरण की स्थिति
प्रखंड लक्ष्य प्राप्ति
जामताड़ा 1250 41
नाला 750 18
कुंडहित 500 58
नारायणपुर 1000 25
नसबंदी की स्थिति
प्रखंड लक्ष्य प्राप्ति
जामताड़ा 150 01
नाला 100 18
कुंडहित 100 01
नारायणपुर 150 01
क्या कहते हैं पदाधिकारी
परिवार नियोजन का लक्ष्य वर्ष के अंतिम माह तक पूरा कर लिया जायेगा. बंध्याकरण व नसबंदी अक्तूबर के बाद ठंड के महीने में ज्यादा होता है. कैंप लगाकर सभी प्रखंडों में लक्ष्य को पूरा किया जायेगा.
– दीपक कुमार गुप्ता, डीपीएम जामताड़ा
ठंड के दिनों में हो सकती है बढ़ोतरी
विभाग की माने, तो गर्मी के दिनों में परिवार नियोजन कार्यक्रम में लोग रुचि नहीं लेते है. ठंड के समय में जिला से लेकर प्रखंड स्तर तक कैंप लगाकर महिला बंध्याकरण व नसबंदी करने से लक्ष्य में बढ़ोतरी हो सकती है.