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अवैध भंडारण में कंपनियों की जब्त होगी संपत्ति

जमशेदपुर: अवैध तरीके से खनिज का भंडारण करने वाली कंपनियों की संपत्ति व खनित को जब्त करने का आदेश खनन विभाग ने दिया है. खनन विभाग ऐसी सारी कंपनियों को अंतिम नोटिस भेज रहा है. अगर कंपनियों ने अवैध खनिज भंडारण के नोटिस के आलोक में कार्रवाई नहीं की और राशि नहीं जमा करायी तो […]

जमशेदपुर: अवैध तरीके से खनिज का भंडारण करने वाली कंपनियों की संपत्ति व खनित को जब्त करने का आदेश खनन विभाग ने दिया है. खनन विभाग ऐसी सारी कंपनियों को अंतिम नोटिस भेज रहा है. अगर कंपनियों ने अवैध खनिज भंडारण के नोटिस के आलोक में कार्रवाई नहीं की और राशि नहीं जमा करायी तो सर्टिफिकेट केस दर्ज किया जायेगा.

इसके लिए खनन विभाग ने प्रक्रिया शुरू कर दी है. इसके अलावा खनन विभाग ने सभी वर्क्स डिपार्टमेंट (पीएचइडी, पीडब्ल्यूडी समेत निर्माण से जुड़े विभाग) को नोटिस देकर कहा था कि लघु खनिज अथवा किसी तरह के खनिज का इस्तेमाल करने पर कंपनियों अथवा ठेकेदारों से बाजार मूल्य से दोगुनी राशि वसूली जाये. खनन विभाग का मानना था कि ये लोग अवैध तरीके से भंडारण किये गये थे. इसके बावजूद वर्क्स डिपार्टमेंट की ओर से ठेकेदारों और कंपनियों से जो प्रचलित मूल्य के आधार पर राशि काट दी गयी है. अब ऐसे विभागों के प्रमुख को खनन विभाग नोटिस भेज रहा है कि क्यों नहीं सरकार उनके ही वेतन से पैसे की कटौती करें. रांची में हुई मीटिंग में खनन पदाधिकारी को इस आशय की कार्रवाई कर सरकार को सूचित करने का आदेश दिया गया है.

खनिज भंडारण पर होगी कार्रवाई
अवैध भंडारण के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है. नोटिस के आलोक में अब तक कोई कदम नहीं उठाया गया है. माइनिंग एक्ट के तहत पैसे की वसूली और संपत्ति और खनिज को भी जब्त करने की कार्रवाई की जा सकती है.
वेंकटेश कुमार, माइनिंग ऑफिसर
जुस्को, मधुकॉन समेत 20 कंपनियों पर करोड़ों का दावा
खनन विभाग ने अवैध तरीके से लघु खनिज का इस्तेमाल करने के लिए करीब 20 कंपनियों पर 13 करोड़ 14 लाख 74 हजार 2 सौ रुपये का हर्जाना दावा किया है. खनन विभाग के मुताबिक इन कंपनियों द्वारा कई वर्षों से अवैध तरीके से लघु खनिजों का भंडारण किया जा रहा है. नियम के मुताबिक इसके लिए लाइसेंस लेना आवश्यक है और बदले में कंपनियों को रॉयलटी देनी है. लेकिन कंपनियों ने न तो लाइसेंस लिया न ही रॉयल्टी का भुगतान ही किया.

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