दुमका : जिला परिषद सदस्य निभा जायसवाल हंसडीहा में अवस्थित जिला परिषद् के डाकबंगला को खाली कराने की मांग को लेकर नौ मई को पुलिस अधीक्षक कार्यालय के समक्ष अनिश्चिकालीन भूख हड़ताल पर बैठेंगी. उसपर भी मांग पूरी नहीं हुई तो वे राज्य निर्वाचन आयोग को बतौर जिला परिषद् सदस्य निर्वाचित होने का प्रमाण पत्र वापस करते हुए इस्तीफा भी दे देंगी. दरअसल हंसडीहा में जिला परिषद् के डाकबंगले को पुलिस निरीक्षक कार्यालय के रुप में उपयोग में लाया जा रहा है.
पांच साल बीत जाने के बाद भी जिला परिषद् को इसके एवज में फूटी-कौड़ी भी किराया नहीं मिला है. साल भर पहले ही जिला परिषद् ने पत्र लिखकर पुलिस निरीक्षक को चार साल के बकाया किराये का भुगतान कराने तथा इसे खाली करते हुए चाभी जिला परिषद् के नाजिर को सौंपने का अनुरोध किया था.
पहले भी जनप्रतिनिधि करे चुके हैं आंदोलन
हंसडीहा में जिला परिषद् के डाक बंगला को खाली कराने की मांग को लेकर पिछली बार 13 नवंबर 2016 को अध्यक्षा जोयस बेसरा के नेतृत्व में अनिश्चितकालीन धरना का आंदोलन हुआ था. उस आंदोलन के दौरान लिखित समझौता हुआ था और डेडलाइन 31 दिसंबर 2016 तक समय दिये जाने के बाद भी इसे खाली करने की कोई पहल नहीं हुई.
12 दुकानें भी बनी, दिलचस्पी नहीं दिखा रहे लोग
जिला परिषद् सदस्य निभा जायसवाल ने बताया कि जिला परिषद् के इस डाकबंगला परिसर में ही दर्जन भर दुकानें राजस्व में वृद्धि के लिए बिनायी गयी थी, पर पुलिस निरीक्ष्रक कार्यालय रहने की वजह से भय से छोटे-मोटे व्यापारी इस दुकान को लेने में दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं. खबर है कि किसी पुराने पंचायत भवन में पुलिस निरीक्षक कार्यालय शिफ्ट करने के लिए बड़ी राशि खर्च कर मरम्मति भी करायी गयी थी.