धनबाद : पूर्व डिप्टी मेयर नीरज सिंह समेत चार लोगों के हत्याकांड से जुड़े मामले में गलत नाम बता कर अह्लाद राय के मकान को भाड़ा पर लेकर शूटरों को ठहराने के एक मामले की सुनवाई बुधवार को न्यायिक दंडाधिकारी मिस संगीता की अदालत में हुई. इस मामले में जेल में बंद शूटर कुर्बान अली उर्फ सोनू, अमन सिंह, चंदन सिंह उर्फ रोहित सिंह, सागर सिंह उर्फ शिबू के अलावे डब्लू मिश्रा आरोपित है. विदित हो कि 31 मार्च 17 को सहायक अवर निरीक्षक नलिन रंजन सिंह के स्वलिखित आवेदन पर सरायढेला थाना में कांड संख्या 50/17 दर्ज किया गया था. केस के अनुसंधानकर्ता अरविंद कुमार को बनाया गया. 24 अगस्त 17 को न्यायिक दंडाधिकारी अर्पित श्रीवास्तव ने पांचों का फिंगर प्रिंट लिया था. उसे एफएसएल को भेजा गया.
सद्भाव आउटसोर्सिंग मामले में हुई सुनवाई एकलव्य सिंह नहीं हुए हाजिर : बीसीसीएल के धनसार कोलियरी स्थित सद्भाव आउटसोर्सिंग पैच में वर्चस्व को लेकर दो गुटों के बीच हुई हिंसक झड़प, फायरिंग व बम फेंके जाने के मामले की सुनवाई बुधवार को अपर जिला व सत्र न्यायाधीश चौदह रवींद्र कुमार की अदालत में हुई. अदालत में डिप्टी मेयर एकलव्य सिंह समेत कई आरोपी गैरहाजिर थे. केस अभिलेख उपस्थिति पर चल रहा है. अदालत ने सुनवाई की अगली तिथि 10 जनवरी 18 मुकर्रर कर दी. विदित हो कि 18 अक्तूबर 16 को नीरज सिंह (दिवंगत) व भाजपा समर्थकों के बीच काम चालू व काम बंद कराने को लेकर दोनों गुट आपस में भिड़ गए थे. काफी हो हंगामा हुआ था. लाठी-डंडा से लेकर अन्य हथियार भी चले थे. उक्त घटना के बाद धनसार थाना के एएसआइ दशरथ जामुदा के स्वलिखित आवेदन पर धनसार कांड संख्या 141/16 दर्ज किया गया था.
जेल से छूटे समरेश
झारखंड मुक्ति मोर्चा के फर्जी सिंबल पर नामांकन दाखिल करने के एक मामले में बुधवार को न्यायिक दंडाधिकारी अर्पित श्रीवास्तव की अदालत ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अपना फैसला सुनाते हुए जेल में बंद समरेश सिंह को साक्ष्य के अभाव में रिहा कर दिया. इसके बाद शाम को वह जेल से छूट गये. फैसला सुनाये जाने के वक्त बचाव पक्ष के अधिवक्ता प्रभाष चौधरी व एसपी भट्टाचार्य मौजूद थे.विदित हो कि 12वीं लोकसभा चुनाव के दौरान समरेश सिंह पर झामुमो का फर्जी सिंबल लाकर नामांकन दाखिल करने का आरोप है. 29 जनवरी 98 को जब निर्वाचन पदाधिकारी ने नामांकन पत्रों की जांच के दौरान इस संदर्भ में झामुमो प्रमुख शिबू सोरेन से जानकारी ली तो उन्होंने झामुमो का सिंबल देने से नकार दिया था. इसके पहले के केसों में उनको बेल मिल चुकी है. वह पिछले 11 दिसंबर से जेल में बंद थे.
वकीलों ने दी दिवंगत अधिवक्ताओं को श्रद्धांजलि
सिविल कोर्ट धनबाद के तीन दिवंगत अधिवक्ता मो जमरुद्दीन अंसारी, मिथिलेश प्रसाद श्रीवास्तव व अरविंद कुमार के निधन पर बुधवार को बार एसोसिएशन की ओर से पोडियम पर श्रद्धांजलि सभा की गयी. इस अवसर पर शोकाकुल अधिवक्ताओं ने शोक जताया और अपने आप को न्यायिक कार्यों से अलग रखा. अधिवक्ताओं ने दिवंगत अधिवक्ताओं को पुष्पांजलि दी. मौके पर बार अध्यक्ष राधेश्याम गोस्वामी, ब्रजकिशोर, ब्रजेंद्र प्रसाद सिंह, अनवर शमीम, सहदेव महतो, मेघनाथ रवानी, प्रयाग महतो, सपन मुखर्जी, बबलू पांडेय, पूर्व अध्यक्ष कंसारी मंडल, देवीशरण सिन्हा, अमित सिंह, चितरंजन कुमार झा, राजदेव यादव, सुदीप कुमार दान, संजय शर्मा आदि थे.
बार एसोसिएशन के खिलाफ केस एडमिट
जिला उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष नित्यानंद सिंह सदस्यद्वय नरेश प्रसाद सिंह व पुष्पा सिंह की तीन सदस्यीय पीठ ने बुधवार को परिवादी विजय कुमार (अधिवक्ता) द्वारा धनबाद बार एसोसिएशन उसके अध्यक्ष, महासचिव व कोषाध्यक्ष के खिलाफ दायर सीसी केस नंबर 01/18 को सुनवाई के बाद एडमिट कर लिया. फोरम ने परिवादी को नोटिस दायर करने का निर्देश दिया ताकि विपक्षियों को नोटिस भेजा जा सके. फोरम ने अगली तिथि मुकर्रर कर दी.
क्या है मामला : परिवादी ने चेंबर आवंटन के लिए धनबाद बार एसोसिएशन को रसीद संख्या 59 दिनांक 30-04-15 के मार्फत डेढ़ लाख रुपया का डीडी जमा किया था. लेकिन परिवादी को चेंबर आवंटित नहीं किया गया. जबकि अन्य कई अधिवक्ताओं को चेंबर आवंटित कर दिया गया है. परिवादी ने अनेक बार पत्र देकर चेंबर आवंटित करने का आग्रह बार के अध्यक्ष व महासचिव से किया. 18 अक्तूबर 17 को परिवादी अधिवक्ता ने विपक्षियों को वकालतन नोटिस दिया. जब उस पर भी कोई सुनवाई नहीं हुई तब बाध्य होकर परिवादी ने उपभोक्ता फोरम में बाद दायर किया.
डब्लू मिश्रा मामले में अभियोजन को साक्ष्य बंद करने का अंतिम मौका
रेलवे की लोहा चोरी और डेढ़ लाख रुपये लूट लेने के दो विभिन्न मामलों में आरोपित जेल में बंद डब्लू मिश्रा की ओर से बुधवार को अभियोजन साक्ष्य बंद करने का आग्रह किया गया. न्यायिक दंडाधिकारी मिस कुमारी जीव की अदालत ने सुनवाई के बाद अभियोजन साक्ष्य बंद करने का अंतिम मौका दिया. ज्ञात हो कि 7 जनवरी 98 को डब्लू मिश्रा पर रेलवे की लोहा चोरी करने जबकि आठ जुलाई 06 को अमलापाड़ा झरिया निवासी रवि कुमार अग्रवाल से डेढ़ लाख रुपये लूट लेने का आरोप है.