देवघर: बच्चों के संरक्षण व उनके अधिकार दिलाने के लिए कार्यरत एनजीओ जेजे एक्ट के तहत निबंधन करा लें. वरना उन पर कार्रवाई की जायेगी. बिना निबंधन के कार्यरत संस्थाओं द्वारा किये गये कार्य को गैर कानूनी माना जायेगा और उन पर कानूनी शिकंजा कसा जायेगा.
ये बातें महिला बाल विकास एवं सामाजिक सुरक्षा विभाग के जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी मीरा कुमारी ने कही. उन्होंने जिला व प्रखंड बाल संरक्षण समिति का गठन प्रपत्र शीघ्र जमा करने को कहा है. साथ ही बाल व्यापार, बाल विवाह, बालश्रम तथा बच्चों के साथ हो रहे घरेलू हिंसा रोकने में प्रशासन की भूमिका में लोगों को मदद करने की सलाह दी है.
बाल कल्याण समिति को अपना दायित्व निर्वहन करने, संप्रेक्षण गृह व शिशु गृह में रह रहे बच्चों को बेहतर संरक्षण व उन्हें सुविधा देकर मुख्य धारा से जोड़ने , बच्चों के मामलों का त्वरित निष्पादन करने की बात उन्होंने दोहरायी है. कस्तूरबा गांधी बालिका स्कूल में नामांकित बच्चियों में बाल विवाह रोकने के लिए अभिभावकों को जागरूक करने की सलाह दी है. बाल संरक्षण पदाधिकारी ने कहा है कि राज्य बाल अधिकार संरक्षण योजना के तहत निर्धारित एक्ट में सुविधा देने संबंधी निर्देशों का उल्लेख है. इसमें मध्याह्न भोजन, आइसीडीएस में पूरक पोषाहार देने, भ्रूण हत्या पर रोक लगाने, कानूनी जानकारी देने आदि के प्रावधान हैं. उन्होंने देवघर जिले में कार्यरत संस्थाओं को इन बिंदुओं के ध्यान में रखते हुए कार्य करने की हिदायत दी है.