इस संबंध में दुकानदार व स्थानीय थोक विक्रेता भी कुछ कहने से परहेज कर रहे हैं. इसमें कितनी सच्चाई है, इसका पता तो प्रयोगशाला में जांच के बाद ही चल सकेगा. यदि यह सही है तो देवघरवासियों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ हो रहा है.
श्रावणी मेले के दौरान देवघर में लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचे. इनमें से सैकड़ों व्रतधारी भी थे. जिन्होंने फल व जल के साथ साबुदाने से निर्मित व्यंजन भी ग्रहण किया. इसमें थके-हारे श्रद्धालु भी शामिल थे. जिनके स्वास्थ्य पर भी बुरा असर पड़ सकता था जो आने वाले दिनों में जानलेवा साबित हो सकता है. डुप्लीकेट साबुदाना की बिक्री संबंधी मामला प्रशासन के लिए जांच का विषय है.