बोकारो: चास का सुमित मलयेशिया जेल से मुक्त हो गया है. फिलहाल डिटेंशन कैंप में है. सुमित के पिता नागेंद्र राय ने बताया : मलयेशिया स्थित भारतीय दूतावास से यह जानकारी मिली है. अगले सप्ताह उसका हवाई टिकट मांगा गया है. वह कोलकाता आयेगा. सुमित की मां दया देवी बताती है कि सरकार व सांसद द्वारा विदेश मंत्रलय को भेजे गये पत्र के कारण ही यह संभव हो सका है.
सुषमा स्वराज ने सांसद को लिखा पत्र : विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने धनबाद सांसद पीएन सिंह को पत्र भेजा है. इसमें सुमित के मलयेशिया में इमिग्रेशन कानून के उल्लंघन के मामले में कंजाग जेल भेजा गया था. दूतावास से मिली जानकारी के अनुसार उसकी सजा 30 जून तक के लिए थी. इसके बाद उसे डिटेंशन कैंप में स्थानांतरित कर दिया गया. भारतीय दूतावास सुमित के भारत जाने के कागजात तैयार कर उसे वापस भेज देगा.
क्या है मामला : चास के अभिमन्यु नगर निवासी वीरेंद्र कुमार राय का पुत्र सुमित को नवंबर 2014 में चेन्नई की लीड्स ट्रेनिंग सेंटर ने मलयेशिया भेजा था. सुमित को मलयेशिया के निलई गार्डन नामक कंपनी में ले जाया गया था. वहां उसे न तो पद मिला और न ही उसे उतना पैसा मिला. कंपनी वालों ने उनका पासपोर्ट व वीजा ले लिया. बाद में वह दूसरी कंपनी मायरेक्स में काम करने लगा था. यहां से 23 मई को मलयेशिया के आप्रवासन विभाग ने पासपोर्ट व वीजा नहीं रहने के कारण उसे गिरफ्तार कर लिया था.