समस्तीपुर : राह चलते हुये स ड़क किनारे मांस मछली की दुकानों को देख एक बार तो लोग जरूर मुंह फेर लेते हैं. मगर यह दैनिक जीवन का हिस्सा बन चुकी है़ विशेषकर छोटे छोटे बच्चें रोजाना स्कूल जाते वक्त ऐसे नजारे से दो चार होते हैं. उनके छोटे बालमन पर इसका क्या असर हो रहा है़
इससे वाकिफ दुकानदार ताजा मांस का हवाला देते हुये पशुओं के शरीर को टांगे रहते हैं. मांस मछली की दुकानों को लेकर नगर विकास व आवास विभाग ने नगर परिषद व नगर पंचायतों को ऐसे मांस व मुर्गे बेचने वाले दुकानों को नियंत्रित व व्यवस्थित करने का आदेश दिया है़ खुले व सार्वजनिक स्थलों पर मांस और मुर्गा के काटने पर रोक लगा दी है़