Malda Aam Story: बिहार में आम के सीजन की शुरूआत हो गई है. बाजार में आम दिखने शुरू भी हो गए हैं. तो कहीं आम के बगीचे में किसान उसकी रखवाली करते हुए दिख रहे हैं. अब जब बिहार की बात हो रही है तो ऐसे में मालदा आम की चर्चा ना हो, यह तो संभव ही नहीं है. वैसे तो कई तरह के वैरायटी के आम की उपज बिहार में होती है. लेकिन, मालदा उन सब में बेहद खास है. बता दें कि, बिहार का मालदा आम दुनियाभर में प्रसिद्ध है. लोग मालदा आम को काफी ज्यादा पसंद भी करते हैं.
मालदा आम की कहानी है रोचक
बता दें कि, मालदा आम का स्वाद जिस तरह अपने आप में खास है तो वहीं उसके नाम की कहानी भी बड़ी ही रोचक है. कहा जाता है कि, बिहार से कुछ किसान मालदा टाउन से ही लंगड़ा प्रजाति के आम खरीद कर वहां ले जाकर रोपाई की. हालांकि, उन्हें प्रजाति की जानकारी नहीं थी, जिस कारण से उसका नाम मालदा लोग कहने लगे. यह नाम काफी चर्चित हो गया. हालांकि, इस मालदा का सही नाम लंगड़ा ही है. इस तरह से जो मालदा आम बिहार में फेमस है, वहीं बाहर में लंगड़ा से चर्चित है.
लंगड़ा आम बिहार में आकर बना मालदा
हालांकि, बिहार वाले मालदा और बंगाल वाले लंगड़ा आम में थोड़ा बहुत फर्क जरूर हो जाता है. दरअसल, बिहार लाकर जब किसान इसकी खेती करने लगे तो इसकी खुश्बू और स्वाद दोनों ही ज्यादा शानदार हो गया. यहां एक मालदा आम (लंगड़ा आम) का वजन 200 से 250 ग्राम तक होता है, जबकि बंगाल का मालदा आम 300 से 350 ग्राम तक होता है. ऐसा इसलिए क्योंकि, बिहार की मिट्टी वाले मालदा आम का छिलका पतला होता है और बंगाल वाले मालदा आम का मोटा होता है. इसी तरह से लंगड़ा आम यहां आकर मालदा बन गया.
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