– मेडिकल कचरे के निपटारे में लापरवाही बर्दाश्त नहीं, सभी एसडीओ कार्रवाई करें:डीएम
संवाददाता, पटना
पटना जिले में बायो मेडिकल कचरा का निपटारा जैव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन नियम के अनुसार नहीं करने वाले 69 अस्पताल व लैब बंद होंगे. डीएम शीर्षत कपिल अशोक ने सभी एसडीओ को 69 अस्पताल व लैब को नियमानुसार अविलंब बंद कराने का निर्देश दिया है. इस संबंध में 20 अप्रैल को सभी एसडीओ को पत्र जारी किया गया है. पत्र में कहा गया है कि संबंधित अस्पताल व लैब को नियमानुसार अविलंब कराते हुए उसकी सूचना साक्ष्य सहित बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद के सदस्य सचिव को भेजना है. एसडीओ को उसकी प्रतिलिपि डीएम को भी उपलब्ध कराना है. अस्पताल व लैब पर यह कार्रवाई जैव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के प्रावधानों का अनुपालन नहीं करने के विरुद्ध होना है. डीएम ने कहा कि नियम के अनुसार बायो मेडिकल कचरे का निपटारा नहीं करनेवाले अस्पताल व लैब के विरुद्ध कार्रवाई करने के लिए बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद से पत्र प्राप्त हुआ था. इस मामले की निगरानी एनजीटी नयी दिल्ली, पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय भारत सरकार व केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड दिल्ली द्वारा की जा रही है. उन्होंने कहा कि सभी अस्पताल व लैब द्वारा जैव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के प्रावधानों का अनुपालन किया जाना अनिवार्य है. इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता या लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी. उन्होंने सभी एसडीओ को इसकी मॉनिटरिंग करने के लिए कहा है.
पटना में 39 अस्पताल व लैब बंद होंगे
बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद द्वारा जिला प्रशासन को 69 अस्पताल व लैब की सूची भेजी गयी है. इसमें पटना में 39 अस्पताल व लैब द्वारा बायो मेडिकल कचरा का निपटारा जैव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के प्रावधानों के अनुसार नहीं किया जा रहा है. इसके अलावा सूची में पटना सिटी, दानापुर, बाढ़, मोकामा, मसौढ़ी, पालीगंज, नौबतपुर, संपतचक सहित अन्य जगहों पर संचालित 30 अस्पताल व लैब हैं. जानकारी के अनुसार बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद ने अस्पतालों व लैब पर कार्रवाई के लिए 19 मार्च 2024 को जिला प्रशासन को पत्र भेजा था. विशेषज्ञ के अनुसार अस्पतालों से निकलने वाले बायो मेडिकल कचरे का अस्पताल प्रबंधन द्वारा उचित प्रबंधन व निपटारा नहीं करने से मानव स्वास्थ्य व पर्यावरण के लिए अत्यंत खतरनाक है. इससे बीमारियां फैलने व प्रदूषण बढ़ता है.