पटना सिटी: सिपाही में नौकरी दिलाने के नाम पर उगाही करनेवाले ठग एसटीएफ जवान का अस्थायी कार्यालय बहादुरपुर थाना क्षेत्र के सैदपुर आंबेडकर हॉस्टल के पास झोंपड़ी में संचालित था. ठग आरक्षी संजीव कुमार ने अभ्यर्थी जीवधारी को गुरुवार के दिन झोंपड़ी में ही प्रमाणपत्र लेकर बुलाया था. शुक्रवार को बहादुरपुर पुलिस ने आरोपित आरक्षी को जेल भेज दिया. पुलिस ने बताया कि आरा के नवादा थाना क्षेत्र के धोबी घाट निवासी रामजी सिंह के पुत्र जीवधारी कुमार ने आरक्षी के खिलाफ कर्मचारी चयन आयोग में शिकायत दर्ज करायी थी.
इसके बाद आयोग के अधिकारियों की टीम व पुलिस की सक्रियता से आरोपित एसटीएफ का जवान संजीव कुमार पकड़ा गया. जीवधारी ने पुलिस को बताया है कि एक जनवरी, 2012 को सिपाही में बहाली का चयन हुआ था. दौड़ के बाद मेरिट लिस्ट निकलने से पहले 25 मई को उसके मोबाइल पर फोन आया. इसमें बताया गया कि मेरिट लिस्ट में तीन नंबर कम है. 70 हजार रुपये खर्च होंगे और काम हो जायेगा. फोन करनेवाले ने अपना नाम संजीव कुमार व खुद को एसटीएफ में आरक्षी बताया.
तब आवेदक ने कहा कि इतना रुपया मेरे पास नहीं है. आरक्षी ने जीवधारी को अपना मूल प्रमाणपत्र लेकर आंबेडकर छात्रवास से सटे पश्चिम स्थित झोंपड़ीनुमा घर में बुला कर बैठा लिया. उसने शैक्षणिक योग्यता संबंधित मूल प्रमाणपत्र ले लिया और कहा कि मेरिट लिस्ट आने के बाद रुपये दे देना. 31 मई को फिर उसने फोन कर कहा कि तुम्हारा मेरिट लिस्ट में नाम आ गया है, रुपये लेकर उसी कार्यालय में आ जाना. इसी बीच गुरुवार को जीवधारी ने चयन पर्षद कार्यालय को मामले की लिखित जानकारी दी.
चयन पर्षद के दो पदाधिकारियों ने पुलिस के सहयोग से संजीव कुमार से पूछताछ की और हिरासत मेंले लिया. पुलिस ने आरोपित आरक्षी के निशानदेही पर केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के मूल प्रवेशपत्र, मूल प्रमाणपत्र व अंकपत्र, वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय, आरा के बीएससी का अंकपत्र बरामद किया. पुलिस ने उसका मोबाइल भी जब्त कर लिया है.