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बिहार : सुविधा मांगने पर टीसी की धमकी देते हैं स्कूल
प्राइवेट स्कूलों में सुरक्षा व्यवस्था के नाम पर की जा रही है खानापूर्ति पटना : राजधानी के प्राइवेट स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा से लेकर क्लास रूम तक की व्यवस्था दुरुस्त नहीं है. हाल में कुछ अभिभावकों द्वारा केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसइ) के क्षेत्रीय कार्यालय में दर्ज करायी गयी शिकायत और समय-समय पर प्रकाश […]
प्राइवेट स्कूलों में सुरक्षा व्यवस्था के नाम पर की जा रही है खानापूर्ति
पटना : राजधानी के प्राइवेट स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा से लेकर क्लास रूम तक की व्यवस्था दुरुस्त नहीं है. हाल में कुछ अभिभावकों द्वारा केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसइ) के क्षेत्रीय कार्यालय में दर्ज करायी गयी शिकायत और समय-समय पर प्रकाश में आ रही घटनाओं ने स्कूलों में दिखने वाले तामझाम व सुरक्षा व्यवस्था का सच सामने ला दिया है.
जबकि स्कूल अभिभावकों से भारी-भरकम फीस वसूल रहे हैं. इसे लेकर स्कूलों की ओर से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, स्मार्ट क्लास रूम समेत तरह-तरह की सुविधा व आधारभूत संरचना उपलब्ध कराने के दावे किये जाते हैं. लेकिन किसी तरह की कमी को लेकर अभिभावक स्कूल प्रबंधन से शिकायत करें, तो उनके बच्चे को स्कूल से टीसी दे दिये जाने की तक धमकी दी जाती है. कुछ अभिभावकों का मानना है कि कुल मिला कर स्कूलों में न तो समुचित आधारभूत संरचना है और न ही सुरक्षा के इंतजाम. बावजूद स्कूलों की मनमानी बदस्तूर जारी है.
एक बानगी
हाल के ही दिनों में शेखपुरा स्थित सीबीएसइ क्षेत्रीय कार्यालय में एक अभिभावकों ने संबंधित स्कूल के खिलाफ शिकायत की थी. अभिभावक की ओर से बताया गया था कि स्कूल में स्मार्ट क्लास के नाम पर फीस ली जाती है, लेकिन स्मार्ट क्लास का नियमित संचालन नहीं किया जाता.
वह स्मार्ट क्लास एक एजेंसी के माध्यम से चलायी जाती है. फीस की रसीद भी एजेंसी ही देती है. अभिभावक ने फीस की रसीद स्कूल से तथा स्मार्ट क्लास का नियमित संचालन करने की मांग की थी. बोर्ड के अधिकारियों बताया कि स्कूल जितनी फीस लेते हैं, उन्हें उसका समुचित हिसाब व उसकी रसीद देनी है.
सुरक्षा की अनदेखी
बोर्ड के अधिकारी बताते हैं कि भले ही साइकोमेट्रिक टेस्ट को लेकर अभी विशेषज्ञ कमेटी की रिपोर्ट व निर्णय का इंतजार है, लेकिन पूर्व में जारी किये गये सुरक्षा संबंधी सर्कुलर को निरस्त नहीं किया गया है.
बल्कि वे सर्कुलर प्रभावी हैं. सीसीटीवी कैमरा, टॉयलेट के पास, कॉरिडोर समेत स्कूल भवन में ऐसे स्थानों पर कर्मियों की तैनाती, चालक-कंडक्टर समेत सफाई कर्मियों के लिए अलग शौचालय, कर्मचारियों का पुलिस वेरीफिकेशन आदि प्रक्रिया व प्रावधानों को स्कूलों को पूरा करना है. अन्यथा मान्यता जा सकता है. बावजूद स्कूलों में सारे इंतजाम नहीं दिखते.
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